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CG Election 2023: निगरानी दलों ने 30 करोड़ 52 लाख रुपए की नगदी और वस्तुएं की जब्त

CG Election 2023(Raipur): राज्य में आदर्श आचार संहिता लागू होने से लेकर 23 अक्टूबर तक की स्थिति में 30 करोड़ 52 लाख 32 हजार रुपए की अवैध धन राशि तथा वस्तुएं जब्त की गई हैं, जिसमें 8 करोड़ 13 लाख 43 हजार रुपए की नगद राशि शामिल है। मुख्य निर्वाचन पदाधिकारी कार्यालय से प्राप्त जानकारी के अनुसार प्रवर्तन एजेंसियों (इन्फोर्समेंट एजेंसीज) द्वारा निगरानी के दौरान 14 करोड़ 25 लाख 14 हजार रुपए कीमत के 158 किलोग्राम से अधिक कीमती आभूषण तथा रत्न भी तलाशी के दौरान जब्त किए गए हैं। इसके अतिरिक्त 5 करोड़ 30 लाख 64 हजार 561 रुपए कीमत की अन्य सामग्रियां भी जब्त की गई हैं।
सघन जांच अभियान के दौरान 23 अक्टूबर तक 21 हजार 838 लीटर अवैध शराब जब्त की गई है, जिसकी कीमत 66 लाख 43 हजार 444 रुपए है। साथ ही 2731 किलोग्राम अन्य नशीली वस्तुएं जिसकी कीमत लगभग 2 करोड़ 16 लाख 66 हजार 577 रुपए है, भी जब्त की गई हैं।
बता दें कि मुख्य निर्वाचन पदाधिकारी रीना बाबा साहेब कंगाले ने विधानसभा निर्वाचन 2023 में कानून व्यवस्था बनाए रखने के लिए आवश्यक कार्यवाही किए जाने के संबंध में सभी जिलों के जिला निर्वाचन अधिकारियों और पुलिस अधीक्षकों को आवश्यक दिशा निर्देश जारी किए हैं। उक्त जारी निर्देशों के परिपालन में राज्य में विभिन्न प्रवर्तन ऐजेंसी के माध्यम से धन और वस्तुओं की अवैध परिवहन तथा संग्रहण पर कड़ी नजर रखी जा रही है। छत्तीसगढ़ विधानसभा निर्वाचन 2023 अंतर्गत प्रदेश में निगरानी दलों की सघन जांच की कार्रवाई लगातार जारी है।
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Chhattisgarh: प्रदेशभर में 17 मई को नागरिक बैनर तले निकलेगी तिरंगा यात्रा, सीएम-़डिप्टी सीएम और अन्य जनप्रतिनिधि करेंगे अगुवाई

Raipur: राष्ट्रीय सुरक्षा के लिए नागरिक अभियान के अंतर्गत 17 मई को प्रदेश भर के प्रत्येक गांव, नगर और पंचायत में भव्य तिरंगा यात्रा का आयोजन किया जाएगा। यह यात्रा देश की सुरक्षा में नागरिक सहभागिता के संकल्प के साथ आयोजित की जा रही है, जिसमें जनप्रतिनिधियों से लेकर आम नागरिकों तक की भागीदारी सुनिश्चित की गई है। मुख्यमंत्री विष्णुदेव साय, उपमुख्यमंत्री तथा मंत्रीगण स्वयं इस प्रदेशव्यापी यात्रा में सम्मिलित होंगे। सांसद, विधायक, जिला एवं जनपद पंचायत अध्यक्ष, सदस्यगण तथा पंचायत प्रतिनिधि और अन्य जनप्रतिनिधियों को भी इस आयोजन में आमंत्रित किया गया है।
यात्रा की अगुवाई राष्ट्रीय सुरक्षा के लिए नागरिक शीर्षक वाले बैनर से की जाएगी और इसके साथ ऑपरेशन सिंदूर का अधिकृत लोगो प्रमुख रूप से प्रदर्शित किया जाएगा। यात्रा का प्रमुख आकर्षण “हम सेना के साथ हैं” और “ऑपरेशन सिंदूर के साथ राष्ट्र” जैसे बड़े बैनर होंगे, जो नागरिकों के मन में राष्ट्रभक्ति की भावना को जागृत करेंगे। इस अवसर पर देश की सशस्त्र सेनाओं, अर्धसैनिक बलों के योगदान को सराहते हुए भारत की जीत, सशस्त्र बलों तथा सैनिकों और उनके परिवारों को धन्यवाद के संदेश वाली तख्तियों लोगों के हाथों में होंगे।
यात्रा में पूर्व सैनिकों, सैनिकों के परिजनों, विद्यालयों के छात्रों, एनसीसी, एनएसएस, स्काउट्स एवं सामाजिक संस्थाओं से जुड़े लोगों को शामिल करने का विशेष अनुरोध किया गया है। जिला प्रशासन और पंचायत प्रतिनिधियों को यह सुनिश्चित करने के निर्देश दिए हैं कि यात्रा शांतिपूर्ण, अनुशासित, संगठित एवं उत्साहपूर्ण हो। यात्रा के मार्ग में उद्घोषणा वाहनों के माध्यम से देशभक्ति गीतों का प्रसारण किया जाएगा और नागरिकों द्वारा देशभक्ति के नारे लगाए जाएंगे। विशेष आकर्षण के रूप में लंबे तिरंगे भी यात्रा का हिस्सा होंगे, जिनकी उपयुक्त संख्या में व्यवस्था रहेगी। तिरंगा यात्रा में शामिल सभी लोगों के हाथ में राष्ट्रीय ध्वज रहे, इसके लिए विशेष तैयारियां की गई हैं।
मुख्यमंत्री साय ने कहा है कि छत्तीसगढ़ की यह तिरंगा यात्रा न केवल राष्ट्रभक्ति की भावना को मजबूती देगी, बल्कि यह राष्ट्रीय सुरक्षा में नागरिकों की सहभागिता का प्रभावशाली उदाहरण भी बनेगी। ऑपरेशन सिंदूर के माध्यम से यह संदेश गांव-गांव तक पहुँचेगा कि राष्ट्र की सुरक्षा सबकी साझी जिम्मेदारी है। यह आयोजन प्रदेशवासियों के उत्साह, सेनाओं के प्रति सम्मान और राष्ट्रीय एकता की भावना को सशक्त करने वाला एक अनुकरणीय प्रयास है। छत्तीसगढ़ 17 मई को एकजुट होकर देश की सुरक्षा और एकता का मिसाल प्रस्तुत करेगा।
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Sushasan tihar: गांव दर गांव जनता के सुख-दुख की ख़बर ले रहे मुख्यमंत्री, समाधान शिविर जगा रहे उम्मीद

Sushasan tihar 2025: मुख्यमंत्री विष्णु देव साय आज भी सुशासन तिहार के तहत एक के बाद एक कई गांव के दौरे पर रहे। मुख्यमंत्री आज मोहला-मानपुर-अंबागढ़ चौकी जिले के मानपुर विकासखंड अंतर्गत ग्राम सीतागांव के सेक्टर सीतागांव में आयोजित समाधान शिविर में शामिल हुए। इस अवसर पर उनके साथ उप मुख्यमंत्री एवं जिले के प्रभारी मंत्री विजय शर्मा, मुख्यमंत्री प्रमुख सचिव सुबोध सिंह भी उपस्थित थे।
सुशासन तिहार के तृतीय चरण अंतर्गत आज समाधान शिविर में क्षेत्र की 8 ग्राम पंचायतों सीतागांव, मदनवाडा, कारेकट्टा, हलांजुर, हुरेली, कंदाडी, कोहका, हलोरा ग्राम पंचायत को क्लस्टर के रूप में शामिल किया गया था। मुख्यमंत्री ने क्लस्टर के 8 ग्राम पंचायतों के हितग्राहियों से सीधा संवाद कर शासन की योजनाओं की जानकारी ली और उनकी समस्याएं सुनीं।
मुख्यमंत्री साय ने अपने संबोधन में कहा कि अभी पूरे प्रदेश में सुशासन तिहार 2025 मनाया जा रहा है। हमारी सरकार बिना पूर्व सूचना के किसी भी क्षेत्र में पहुंचकर चौपाल लगाकर जनता से सीधे संवाद कर उनकी समस्याएं सुन रही है। यह सरकार पारदर्शिता और जनभागीदारी की भावना से कार्य कर रही है।
उप मुख्यमंत्री विजय शर्मा ने समाधान शिविर में लोगों से संवाद करते हुए कहा कि सरकार लोगों की समस्याओं के निराकरण और उनकी मांगों को पूरा करने के लिए गंभीरता से काम कर रही है। इसके लिए बकायदा एक महीने पहले से आवेदन लेकर उनका परीक्षण कर लोगों की समस्याएं दूर की जा रही है। मुख्यमंत्री साय स्वयं समाधान शिविरों में पहुंचकर मैदानी स्तर पर लोगों की समस्याओं के निराकरण की पड़ताल कर रहे हैं।
मुख्यमंत्री साय की प्रमुख घोषणाएं-
1. सीतागांव उप स्वास्थ्य केंद्र को प्राथमिक स्वास्थ्य केंद्र के रूप में उन्नत किया जाएगा।
2. मोहला में बस स्टैंड और छात्रावास का निर्माण किया जाएगा।
3. सीतागांव हाई स्कूल का हायर सेकेंडरी स्कूल में उन्नयन किया जाएगा।
4. अंबागढ़ चौकी क्षेत्र में 132 केवी सब स्टेशन की स्थापना की जाएगी।
मोहला मानपुर अंबागढ़ चौकी जिले में हुआ 97% आवेदनों का निराकरण
सीतागांव शिविर में कुल 1785 आवेदन प्राप्त हुए हैं, जिनमें मांग 1765, शिकायत 20 हैं, प्राप्त आवेदनों के विरूद्ध 1750 मांग एवं 20 शिकायतों का निराकरण किया जा चुका है, शेष 15 आवेदनों का निराकरण किया जा रहा है। इस क्लस्टर अंतर्गत प्रमुख रूप से वन अधिकार पट्टा हेतु 336, प्रधानमंत्री आवास के 258, राशन कार्ड के 247 आवेदन हैं। वहीं मोहला मानपुर अंबागढ़ चौकी जिले की बात करें तो 185 ग्राम पंचायत एवं 01 नगरीय निकाय में कुल 25 शिविर रखे गये हैं, जिसमें से आज दिनांक तक 11 शिविर आयोजित हो चुके हैं। सुशासन तिहार में जिला अंतर्गत कुल 48007 आवेदन प्राप्त हुए हैं, जिसमें मांग 47,333 शिकायत 674 है। अभी तक 46466 मांग 610 शिकायतों का निराकरण पूर्ण हो चुका है इस तरह से 97 प्रतिशत आवेदन का निराकरण हो चुका है।
तपती दोपहरी में खैरागढ़-छुईखदान-गंडई जिले के झुरानदी में उतरा मुख्यमंत्री का हेलिकॉप्टर
मुख्यमंत्री साय की सहजता और सरलता से झुरानदी गांव के ग्रामीण अभिभूत हो उठे। तपती दोपहरी में मुख्यमंत्री का हेलीकॉप्टर अचानक खैरागढ़-छुईखदान-गंडई जिले के ग्राम झुरानदी में उतरा। बिना किसी पूर्व सूचना के मुख्यमंत्री को अपने बीच पाकर ग्रामीणों को हर्ष मिश्रित आश्चर्य हुआ। मुख्यमंत्री ने गांव के बरगद पेड़ की छांव में चौपाल लगाई और बेहद आत्मीय अंदाज में ग्रामीणों से संवाद किया। देखते ही देखते पूरा गांव उमड़ पड़ा और माहौल उत्सव जैसा बन गया। मुख्यमंत्री के साथ उपमुख्यमंत्री विजय शर्मा भी उपस्थित थे।
मुख्यमंत्री ने ग्रामीणों से बातचीत की शुरुआत करते हुए कहा कि मैंने बस्तर, सरगुजा के अनेकों जिले में और जांजगीर, चांपा, कबीरधाम, बेमेतरा जिले जैसे जिलों के सुदूर गांवों तक जाकर जनचौपाल की है। उन्होंने कहा कि आज मानपुर-मोहला-अंबागढ़ चौकी जिले से होकर आपके इस गांव झुरानदी में सीधे पहुंचा हूं। हमारी सरकार गांव, गरीब और किसान की सरकार है। हम हर घर तक शासन की योजनाओं का लाभ पहुंचाना चाहते हैं। उन्होंने अधिकारियों को निर्देश दिए कि ग्रामीणों की मांगों और समस्याओं पर त्वरित कार्रवाई की जाए तथा योजनाओं का लाभ हर पात्र हितग्राही तक समय पर पहुंचे।
मुख्यमंत्री ने ग्रामीणों की मांग पर झुरानदी गांव में हाई स्कूल एवं हायर सेकेंडरी स्कूल भवन निर्माण की घोषणा की। उन्होंने ग्राम में सीसी सड़क निर्माण के लिए 20 लाख रूपए, दो उच्च स्तरीय पुल निर्माण- गंडई से कृतबाधा पहुंच मार्ग पर उच्च स्तरीय पुल निर्माण के लिए 2 करोड़ 54 लाख रूपए और गंडई कर्रानाला पहुँचमार्ग पर लिमो में उच्च स्तरीय पुल निर्माण के लिए 2 करोड 52 लाख रूपए और ग्रामीणों की मांग पर ग्राम पंचायत भोरमपुर में नए पंचायत भवन निर्माण की घोषणा की।
ग्रामीणों ने मुख्यमंत्री साय के सहज, सरल, सादगीपूर्ण और विनम्र व्यवहार की खुले दिल से सराहना की। बुजुर्गों ने कहा कि वर्षों में पहली बार ऐसा अवसर आया है, जब प्रदेश के मुखिया सीधे उनके गांव में पहुंचे। किसानों और युवाओं ने मुख्यमंत्री की माटी से जुड़ी शैली को नज़दीक से देखा और महसूस किया।
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Sushasan Tihar: मुख्यमंत्री साय ने बीजापुर में की सुशासन तिहार के तीसरे चरण की समीक्षा, इन कामों को सर्वोच्च प्राथमिकता देने के दिए निर्देश

Bijapur: मुख्यमंत्री विष्णु देव साय ने बीजापुर जिला मुख्यालय में आयोजित उच्चस्तरीय समीक्षा बैठक में प्रशासनिक अधिकारियों को निर्देशित किया कि वे जनकल्याणकारी योजनाओं के प्रभावी क्रियान्वयन हेतु सतत निगरानी एवं समन्वय बनाए रखें। बैठक में मुख्य सचिव अमिताभ जैन, मुख्यमंत्री के प्रमुख सचिव सुबोध सिंह, पुलिस महानिदेशक अरुण देव गौतम सहित अन्य वरिष्ठ अधिकारीगण उपस्थित थे।
मुख्यमंत्री विष्णु देव साय ने बीजापुर जिले में भू-जल स्तर और पेयजल के स्रोतों की उपलब्धता की समीक्षा की। कलेक्टर बीजापुर ने बताया कि मांग के अनुरूप नलकूपों की खुदाई करवाई गई है। मुख्यमंत्री साय ने पेयजल की दीर्घकालिक आपूर्ति के लिए वैकल्पिक स्रोतों पर भी काम करने के निर्देश दिए।
मुख्यमंत्री ने शिक्षा की गुणवत्ता को लेकर अधिकारियों से विस्तृत जानकारी ली। बैठक में बताया गया कि समर कैंप और ‘बाल शिक्षा मित्र’ जैसे नवाचारों से बच्चों की शिक्षा में रुचि बढ़ी है। मुख्यमंत्री साय ने इन प्रयासों को और अधिक संगठित एवं परिणामोन्मुखी बनाने पर बल दिया।
मुख्यमंत्री ने ग्रामीण क्षेत्रों को मुख्य मार्गों से जोड़ने के लिए मुख्यमंत्री ग्रामीण बस सेवा योजना के संबंध में चर्चा करते हुए कहा कि बस्तर और सरगुजा संभाग को प्राथमिकता दी जाएगी। उन्होंने इस सम्बन्ध में बीजापुर और दंतेवाड़ा के कलेक्टरों को रूट चिन्हांकन कर प्रस्ताव भेजने के निर्देश दिए गए।
मुख्यमंत्री साय ने कहा कि आत्मसमर्पण करने वाले नक्सलियों के लिए आवास, पुनर्वास और कौशल प्रशिक्षण की समुचित व्यवस्था की जाए। उन्होंने एनएमडीसी व निजी क्षेत्रों में रोजगार की संभावनाओं हेतु प्लेसमेंट कैंप आयोजित करने के निर्देश दिए। मुख्यमंत्री ने सुशासन तिहार के तीसरे चरण में स्वयं भागीदारी करते हुए जमीनी सच्चाई का मूल्यांकन करने की बात कही।
उन्होंने कहा कि बीते डेढ़ वर्षों में प्रधानमंत्री मोदी की गारंटी के अधिकांश वादे पूरे किए गए हैं और बस्तर क्षेत्र में नक्सलवाद के विरुद्ध निर्णायक लड़ाई लड़ी जा रही है। मुख्यमंत्री साय ने जनजातीय समुदाय की आर्थिक समृद्धि के लिए उन्हें उनकी प्रकृति के अनुरूप कार्यों से जोड़ने की बात कही।
मुख्यमंत्री साय ने कहा कि अटल सेवा केंद्र का शुभारंभ अनेक पंचायतों में हो चुका है, जिससे अब ग्रामीणों को बैंकिंग सेवाएँ उनके ही गांवों में सुलभ होंगी। बैठक के अंत में मुख्यमंत्री ने कहा कि टीम भावना से काम करने से ही प्रशासनिक और विकासात्मक लक्ष्यों को हासिल किया जा सकता है। उन्होंने सभी अधिकारियों से अपील की कि वे इसी भावना से कार्य करते हुए जनता के कल्याण हेतु प्रतिबद्ध रहें। बैठक में वन मंत्री केदार कश्यप सहित अन्य जनप्रतिनिधिगण एवं अधिकारीगण उपस्थित थे।
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Chhattisgarh: जवानों के बीच पहुंचकर सीएम साय ने दी नक्सल अभियान में सफलता पर बधाई, बढ़ाया जवानों का हौसला

Bijapur: मुख्यमंत्री विष्णु देव साय आज बीजापुर जिले के उसूर तहसील के अंदरूनी गांव गलगम पहुंचे, जहां उन्होंने सीआरपीएफ के जवानों और स्थानीय ग्रामीणों से मुलाकात कर हालिया नक्सल विरोधी अभियान की सफलता पर चर्चा की। इस अभियान में सुरक्षा बलों ने करेगुट्टा की पहाड़ी पर 21 दिनों तक चले ऑपरेशन में 31 कुख्यात माओवादी आतंकियों को मार गिराया और बड़ी मात्रा में हथियार बरामद किए। मुख्यमंत्री साय ने इस अभियान को नक्सल मुक्त छत्तीसगढ़ के लक्ष्य की ओर एक महत्वपूर्ण कदम बताया।
मुख्यमंत्री साय ने भारत माता और छत्तीसगढ़ महतारी के जयकारे के उद्बोधन की शुरुआत की। उन्होंने कहा कि हमारे जवानों ने अदम्य साहस और समर्पण के साथ इस ऑपरेशन को सफल बनाया है। यह न केवल बीजापुर बल्कि पूरे राज्य के लिए एक बड़ी उपलब्धि है। गलगम और करेगुट्टा का क्षेत्र लंबे समय से नक्सलियों का गढ़ माना जाता रहा है और इस अभियान ने इस इलाके को सुरक्षित बनाने की दिशा में नई उम्मीद जगाई है।
मुख्यमंत्री साय ने कहा कि आप लगातार अनेक कठिन नक्सल विरोधी ऑपरेशन को अंजाम दे रहे हैं। आप 44 डिग्री की गर्मी में भी ऑपरेशन चलाते हैं। ऐसे जवानों के अदम्य साहस को मैं नमन करता हूँ। उन्होंने बताया कि वे सुरक्षा कैम्प को सुविधा कैम्प मानते हैं क्योंकि सुरक्षा कैम्प के माध्यम से अब बस्तर के सुदूर इलाकों में अनेक तरह की सुविधाएं पहुंच रही हैं।
मुख्यमंत्री श्री साय के कहा कि जब हमारी सरकार आयी तो इस क्षेत्र में सबसे पहला कैम्प मूलेर में खोला गया। आज मूलेर समेत आसपास के गांव में राशन की सुविधा, बिजली, स्वास्थ्य, स्कूल, मोबाइल टॉवर जैसी सुविधाएं मिलने लगी हैं। प्रधानमंत्री मोदी और केंद्रीय गृहमंत्री अमित शाह के नेतृत्व और मार्गदर्शन में नक्सल विरोधी अभियान में लगातार सफलता मिल रही है। राज्य में मार्च 2026 तक छत्तीसगढ़ को नक्सल मुक्त करने का लक्ष्य है, निश्चित रूप से फोर्स के जवानों के अदम्य साहस की बदौलत हम इस संकल्प को पूरा कर लेंगे। उन्होंने कहा बस्तर में नियद नेल्ला नार योजना ने स्थानीय लोगों से जुड़ने में अहम भूमिका निभाई है।
अपने दौरे के दौरान मुख्यमंत्री विष्णु देव साय ने ग्रामीण हितग्राहियों से भी मुलाकात की और उन्हें राशन कार्ड, आयुष्मान कार्ड का वितरण करते हुए पीएम आवास योजनांतर्गत स्पेशल प्रोजेक्ट नक्सल पीड़ित व आत्मसमर्पित परिवारों को स्वीकृति पत्र प्रदान किया। उन्होंने ग्रामीणों को आश्वासन दिया कि सरकार क्षेत्र में विकास कार्यों को और अधिक तेज गति से करेगी साथ ही शिक्षा, स्वास्थ्य व रोजगार के अवसरों को बढ़ावा देगी। मुख्यमंत्री साय ने कहा कि मार्च 2026 तक छत्तीसगढ़ को पूरी तरह नक्सल मुक्त बनाने का लक्ष्य है, और इसके लिए सुरक्षा बलों के साथ-साथ स्थानीय समुदायों का सहयोग भी जरूरी है।
मुख्यमंत्री साय ने कहा कि क्षेत्र में सड़क, बिजली और पानी जैसी बुनियादी सुविधाओं को मजबूत किया जाएगा, ताकि ग्रामीण मुख्यधारा से जुड़ सकें। इसके साथ ही, नक्सल प्रभावित क्षेत्रों में शिक्षा और स्वास्थ्य सेवाओं को प्राथमिकता दी जाएगी। मुख्यमंत्री श्री साय ने गलगम कैंप में जवानों के साथ तस्वीर खिंचाई और भारत माता के जयकारे से उनका जोश बढ़ाया। जवानों ने भी नारे लगाते हुए देशभक्ति का जज़्बा दिखाया। मुख्यमंत्री ने जवानों संग बैठकर भोजन भी किया।
गलगम कैम्प में हुए आयोजन में पुलिस महानिदेशक अरुण देव गौतम ने अपने उद्बोधन में फोर्स के जवानों द्वारा किए जा रहे सिविक एक्शन को सराहा। वहीं कलेक्टर बीजापुर संबित मिश्रा ने मुख्यमंत्री विष्णु देव साय को बताया कि सुशासन तिहार-2025 के अंतर्गत बीते कल ही गलगम में समाधान शिविर का आयोजन किया गया था। इस दौरान गलगम कलस्टर में कुल 1590 आवेदन प्राप्त हुए थे, जिनमें से अधिकतर आवेदन वन अधिकार पत्र के थे, जिनका परीक्षण कर सार्थक कार्यवाही की जा रही है। इस अवसर पर मुख्य सचिव अमिताभ जैन, मुख्यमंत्री के प्रमुख सचिव सुबोध कुमार सिंह, बस्तर रेंज आईजी सुंदरराज पी., डीआईजी कमलोचन कश्यप, कलेक्टर संबित मिश्रा, पुलिस अधीक्षक डॉ. जितेन्द्र यादव सहित अनेक वरिष्ठ अधिकारी और सुरक्षा बलों के जवान उपस्थित थे।
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Sushasan tihar: छत्तीसगढ़ के अंतिम छोर पर पहुंचा सुशासन तिहार, दंतेवाड़ा जिले के मुलेर में CM साय जनता से हुए रूबरू

Dantewada: मुख्यमंत्री साय ने आज बस्तर संभाग के अतिदूरस्थ और आदिवासी बहुल ग्राम मुलेर का दौरा किया। यह गांव दंतेवाड़ा जिले की सीमा पर स्थित अंतिम गांवों में से एक है, जहां अब नियद नेल्लानार योजना के तहत समावेशी विकास कार्य तेजी से हो रहे हैं। मुख्यमंत्री साय का ग्रामीणों ने महुआ, आमपत्ती से बने पारंपरिक हार और गौर मुकुट पहनाकर आत्मीय स्वागत किया। मुख्य सचिव अमिताभ जैन, मुख्यमंत्री के प्रमुख सचिव सुबोध कुमार सिंह और पुलिस महानिदेशक अरुण देव गौतम का भी छिंद पत्तों से बने पारंपरिक गुलदस्तों से अभिनंदन किया गया।
मुख्यमंत्री साय ने इमली के पेड़ के नीचे चौपाल लगाकर ग्रामवासियों से सीधे संवाद किया। उन्होंने ग्रामीणों की ज़मीनी समस्याएं सुनीं और विकास की प्राथमिकताओं पर चर्चा की। उन्होंने राशन दुकान का निरीक्षण किया, जहां हितग्राहियों से बातचीत कर राशन वितरण की नियमितता, गुणवत्ता, और उपयोग की जानकारी ली। इस दौरान उन्होंने खाद्यान्न का वजन भी मौके पर करवाया और एक हितग्राही का राशन कार्ड देखा। मुख्यमंत्री साय ने आंगनबाड़ी में बच्चों से आत्मीय वार्तालाप कर उनके अक्षर ज्ञान, रंग-पहचान आदि की जानकारी ली और बच्चों को चॉकलेट वितरण किया।
मुख्यमंत्री साय की घोषणाएं
मुख्यमंत्री साय ने मौके पर ही कई महत्वपूर्ण घोषणाएं कीं, जिनमें अंदल कोसम माता मंदिर निर्माण के लिए 4 लाख रुपए की स्वीकृति, ग्राम में उप स्वास्थ्य केन्द्र स्थापना, नाहाड़ी तक संपर्क सड़क का निर्माण तथा गांव के सभी पारा को जोड़ने हेतु पुलिया और सीसी सड़क निर्माण के लिए 5 लाख रुपए की स्वीकृति शामिल है। उन्होंने आगे कहा कि जल्द ही शिविर लगाकर वनाधिकार मान्यता पत्र, आधार कार्ड और आयुष्मान कार्ड बनाने की कार्यवाही की जाएगी। मुख्यमंत्री ने इस अवसर पर प्रदेश की 10वीं बोर्ड परीक्षा में 9वां स्थान प्राप्त करने वाली दंतेवाड़ा की छात्रा रमशिला नाग से भेंट की, उसे पुष्पगुच्छ भेंटकर और मिठाई खिलाकर सम्मानित किया, और उसके उज्ज्वल भविष्य की कामना की।
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