ख़बर छत्तीसगढ़
जनादेश दिवस: महिलाओं को मिली महतारी वंदन योजना की 10वीं किश्त, मुख्यमंत्री ने रायगढ़ जिले को दी 137 करोड़ के विकास कार्याें की सौगात

Raipur: मुख्यमंत्री विष्णु देव साय ने आज रायगढ़ जिले में लगभग 137 करोड़ रुपए के विकास कार्यों का लोकार्पण एवं भूमिपूजन किया। इस अवसर पर मुख्यमंत्री के आग्रह पर सरस्वती यादव ने बटन दबाकर प्रदेश की 70 लाख महिलाओं को महतारी वंदन योजना की 10वीं किश्त के रूप में 652 करोड़ रुपए की राशि ट्रांसफर की। मुख्यमंत्री साय ने अपने उद्बोधन में सारंगढ़-बिलाईगढ़ जिले के ग्राम दानसरा का उल्लेख करते हुए कहा कि यहां की माताओं और बहनों ने सोचा कि अयोध्या धाम में भव्य श्रीरामलला का मंदिर बना है। हम भी गांव के हनुमान मंदिर के बगल में रामलला का मंदिर बनाएं। इन महिलाओं ने महतारी वंदन योजना से मिली राशि से चंदा कर मंदिर निर्माण शुरू कर दिया। माताओं-बहनों के सपने देखने और इनके पूरे होने की कितनी ही कहानियां हैं। मैं अक्सर माताओं-बहनों से इस बारे में पूछता हूँ और हर बार उनकी बातें मेरे दिल को छू जाती हैं।
मुख्यमंत्री ने कहा कि कल मैं रायपुर में पीएससी परीक्षा के टापर्स से मिला। उन युवाओं के आंखों में भरोसे की चमक थी। उन्होंने मुझे बताया कि पीएससी परीक्षा में गड़बड़ियां होने की वजह से उनका भरोसा टूट गया था लेकिन जब हमारी सरकार आई तब हमने पीएससी परीक्षा में पारदर्शिता के लिए कार्य किया। प्रतियोगी परीक्षा में किये गये भ्रष्टाचार से एक प्रतिभाशाली युवा का भविष्य तो बर्बाद होता ही है सिविल सेवा के ढांचे को भी दीमक लग जाता है। भ्रष्टाचार की जांच के लिए हमने सीबीआई को जिम्मा दिया तो उनका भरोसा फिर लौटा।
सीएम साय ने कहा कि आज हमने 42 करोड़ 56 लाख रुपए की राशि से बनने वाले नालंदा परिसर का भी भूमिपूजन किया है, जिससे पीएससी एवं अन्य प्रतियोगी परीक्षा दे रहे युवाओं को इससे काफी लाभ मिलेगा। हम प्रदेश के 13 नगरीय निकायों में राजधानी रायपुर के नालंदा की तरह लाइब्रेरी आरंभ कर रहे हैं। यहां हजारों किताबों का संग्रह होगा। वाईफाई की सुविधा होगी। सभी तरह की प्रतियोगी परीक्षाओं की तैयारी कर रहे युवाओं को यहां स्टडी मटेरियल मिल सकेगा।
मुख्यमंत्री ने कहा कि वर्ष 2047 में प्रधानमंत्री मोदी ने विकसित भारत के निर्माण का लक्ष्य रखा है। हमने भी वर्ष 2047 तक विकसित छत्तीसगढ़ बनाने विजन डाक्यूमेंट बनाया है। विजन डाक्यूमेंट में प्रदेश के तेजी से औद्योगीकरण पर सबसे ज्यादा जोर है। उद्योग धंधों के तेजी से विकास के लिए हमने नई उद्योग नीति बनाई है। इसके चलते छत्तीसगढ़ में उद्यमियों को नये उद्यम आरंभ करने में बहुत सहूलियत होगी। औद्योगिक वातावरण को बेहतर करने के लिए कनेक्टिविटी सबसे पहली शर्त होती हैं। अगले दो साल में हमारे प्रदेश का रोड नेटवर्क किसी भी विकसित देश की बराबरी का होगा। सरगुजा और बस्तर को एयर कनेक्टिविटी मिल गई है। रेलवे में जिस तरह से अधोसंरचना का कार्य एक दशक में किया गया है उससे भविष्य में यात्रियों को तो सुविधा मिलेगी ही, मालभाड़े का आवागमन भी बेहद आसान हो जाएगा जो बिजनेस बढ़ाने के लिए सबसे ज्यादा आवश्यक है।
मुख्यमंत्री ने कहा कि अभी धान खरीदी का समय है। हमारी सरकार ने किसानों की खुशहाली का भी पूरा ध्यान रखा है। हम लोग 3100 रुपए प्रति क्विंटल तथा 21 एकड़ प्रति क्विंटल धान खरीद रहे हैं। पिछली बार हमने 145 लाख मीट्रिक टन रिकार्ड धान खरीदा था। इस बार 160 लाख मीट्रिक टन धान का लक्ष्य है। हमारी सरकार के एक साल पूरे होने जा रहे हैं। शपथ लेने के अगले दिन ही हमने 18 लाख आवासों को स्वीकृत किया था और तब से मोदी जी की गारंटी को पूरा करने का सिलसिला अनवरत चलता आया और अब हमने मोदी जी की गारंटी के अधिकांश वायदों को एक साल के भीतर ही पूरा कर दिया है। आज हमने प्रधानमंत्री आवास योजना के ऐसे हितग्राहियों को सम्मानित किया है, जिन्होंने अपने आवास का काम पूरा कर लिया है।
उप मुख्यमंत्री अरुण साव ने कहा कि आज के दिन छत्तीसगढ़ में विष्णु के सुशासन की शुरुआत हुई। छत्तीसगढ़ में मोदी की सभी गारंटी पूरी हो रही है। गांव और शहरों में विकास कार्यों को तेजी से पूरा करा रहे हैं। उन्होंने बताया कि रायगढ़ जिले में नगरीय विकास के लिए 100 करोड़ रुपए को राशि जारी की गई है। रायगढ़ नगर निगम में ही 60 करोड़ के कार्य स्वीकृत किए गए हैं।
वित्त मंत्री ओ पी चौधरी ने कहा कि मुख्यमंत्री श्री विष्णु देव साय के नेतृत्व में रायगढ़ जिले में किसानों को सिंचाई सुविधा दिलाने के लिए केलो डैम से नहरों का काम पूरा करने की दिशा में कार्य कर रहे हैं, इसके लिए बजट में राशि का प्रावधान किया गया है। उन्होंने कहा कि मुख्यमंत्री श्री साय के नेतृत्व में रायगढ़ अंचल का तेजी से विकास किया जा रहा है। उन्होंने बताया कि रायगढ़ में हार्टिकल्चर कॉलेज खुलने जा रहा है। यहां नालंदा परिसर का निर्माण सीएसआर मद से निर्मित होगा, जिसका लाभ यहां के छात्रों को यहां मिलेगा।
अत्याधुनिक सुविधाओं से लैस होगी लाईब्रेरी
रायगढ़ के मरीन ड्राइव में सर्वसुविधायुक्त नालंदा परिसर एक अत्याधुनिक लाइब्रेरी होगी। यह प्रदेश की सबसे बड़ी लाईब्रेरी होगी, यहां वो सारी सुविधाएं होगी जो अमूमन बड़े शहरों और विश्वविद्यालयों की लाइब्रेरी में देखने को मिलती है। यहां अध्ययन-अध्यापन का एक ऐसा इको सिस्टम छात्रों को मिलेगा, जिससे वे खुद को प्रदेश के साथ राष्ट्रीय स्तर पर प्रतिस्पर्धा के लिए खुद को तैयार कर सकें। मुख्यमंत्री साय के साथ 5 स्कूली छात्रों ने बटन दबाकर रायगढ़ में बनने जा रहे नालंदा परिसर के वर्चुअल टूर वीडियो का लोकार्पण किया।
नालंदा परिसर में स्मार्ट लाइब्रेरी व स्टडी जोन होगा। हजारों किताबों के संग्रह के साथ अंतर्राष्ट्रीय स्तर के ई-बुक एक्सेस करने की भी सुविधा होगी। स्मार्ट लर्निंग पर फोकस होगा। 24×7 वाईफाई और इंटरनेट की सुविधा भी छात्रों को यहां मिलेगी। सिविल सर्विसेज के साथ मेडिकल, इंजीनियरिंग, क्लैट की तैयारी के साथ मैथ्स ओलिंपियाड के लिए भी किताबें यहां होगी। कैरियर गाइडेंस सेमिनार का आयोजन होगा। 5 वीं के बाद बच्चों को नवोदय विद्यालय, सैनिक स्कूल में प्रवेश के लिए तैयारी हेतु एक किड्स स्टडी जोन और किड्स लाइब्रेरी भी अलग से तैयार होगा जहां उनके सिलेबस के अनुसार किताबें और स्टडी मटेरियल उपलब्ध रहेगा। कॉन्फ्रेंस हाल के साथ कैफेटेरिया भी होगा।
ख़बर छत्तीसगढ़
‘वंदे मातरम्” के 150 वर्ष’: राष्ट्रगौरव और जनभागीदारी का वर्षभर चलने वाला उत्सव 7 नवंबर से होगा प्रारंभ

Raipur: वंदे मातरम्” की 150वीं वर्षगांठ पूरे देश के लिए गर्व और राष्ट्रभक्ति का अद्वितीय अवसर है। भारत सरकार के संस्कृति मंत्रालय के मार्गदर्शन में इस ऐतिहासिक पर्व को वर्षभर चलने वाले महाअभियान के रूप में मनाया जा रहा है। देश के साथ छत्तीसगढ़ में भी यह आयोजन जनभागीदारी के साथ चार चरणों में ग्राम पंचायत से लेकर राज्य स्तर तक भव्य रूप में संपन्न किया जाएगा।
पहला चरण 7 नवम्बर से होगा प्रारंभ
वंदे मातरम् के 150 वर्ष पूर्ण होने पर कार्यक्रम का शुभारंभ 7 नवम्बर 2025 को प्रधानमंत्री मोदी द्वारा किया जाएगा। यह राष्ट्रीय कार्यक्रम प्रातः 10 से 11 बजे तक दूरदर्शन पर प्रसारित होगा। प्रधानमंत्री के उद्बोधन के पश्चात पूरे देश में एक साथ वंदे मातरम् का सामूहिक गायन किया जाएगा। गीत के बोल और धुन पोर्टल vandemataram150.in पर उपलब्ध हैं।
चार चरणों में होगा वर्षभर आयोजन
कार्यक्रम चार चरणों में आयोजित होगा- प्रथम चरण 7 से 14 नवम्बर 2025, द्वितीय चरण 19 से 26 जनवरी 2026, तृतीय चरण 7 से 15 अगस्त 2026 (हर घर तिरंगा अभियान के साथ), और चतुर्थ चरण 1 से 7 नवम्बर 2026 तक चलेगा। इस दौरान राज्य के सभी जिलों, जनपदों, ग्राम पंचायतों, शैक्षणिक संस्थानों, कार्यालयों एवं सामाजिक संगठनों में राष्ट्रगीत के सामूहिक गायन के साथ विविध कार्यक्रम आयोजित होंगे।
जिलों में मंत्रीगण और जनप्रतिनिधियों की सहभागिता
राज्य के सभी जिलों में मंत्रीगण, सांसदगण, विधायकगण और जनप्रतिनिधियों की उपस्थिति में विशेष कार्यक्रम आयोजित होंगे।प्रत्येक जिले में स्थानीय कलाकारों, छात्रों, सामाजिक संस्थाओं और नागरिक समूहों की सहभागिता सुनिश्चित की जाएगी, ताकि यह अभियान एक जनआंदोलन का रूप ले सके।
विद्यालयों में विशेष गतिविधियाँ और रचनात्मक आयोजन
प्रदेश के सभी विद्यालयों, महाविद्यालयों और शिक्षण संस्थानों में “वंदे मातरम्” विषय पर विशेष सभाएँ, निबंध, वाद-विवाद, प्रश्नोत्तरी, पोस्टर निर्माण, एवं सांस्कृतिक प्रतियोगिताएँ होंगी। एनसीसी, एनएसएस, स्काउट-गाइड और स्कूल बैंड के माध्यम से वंदे मातरम से संबंधित संगीतमय प्रस्तुतियाँ दी जाएँगी। राज्य पुलिस बैंड भी सार्वजनिक स्थलों पर वंदे मातरम और देशभक्ति गीतों पर आधारित कार्यक्रमों से वातावरण को देशभक्ति के रंग में रंगेगा।
‘वंदे मातरम् ऑडियो-वीडियो बूथ’ एक अभिनव पहल
राज्यभर में सार्वजनिक-निजी भागीदारी के तहत “वंदे मातरम् ऑडियो-वीडियो बूथ” स्थापित किए जाएंगे। इनमें नागरिक अपनी आवाज़ में वंदे मातरम् गाकर उसे पोर्टल पर अपलोड कर सकेंगे। पोर्टल पर गीत की मूल धुन और बोल की सुविधा भी उपलब्ध कराई गई है। यह पहल लोगों को अपने तरीके से राष्ट्रप्रेम व्यक्त करने का अवसर देगी और आंदोलन को अधिक व्यक्तिगत और भावनात्मक बनाएगी।
“वंदे मातरम्” की 150वीं वर्षगांठ केवल एक स्मरणीय अवसर नहीं, बल्कि राष्ट्र की एकता, आत्मगौरव और मातृभूमि के प्रति समर्पण का जीवंत संदेश है। यह आयोजन छत्तीसगढ़ की नई पीढ़ी को भारत की सांस्कृतिक जड़ों से जोड़ते हुए उनमें देशभक्ति, कर्तव्यनिष्ठा और राष्ट्रीय चेतना की भावना को और गहराई देगा। वंदे मातरम् केवल गीत नहीं, बल्कि भारत की आत्मा का स्वर है, जिसकी गूंज हर नागरिक के हृदय में नई ऊर्जा और गर्व का संचार करेगी। – मुख्यमंत्री श्री विष्णु देव साय
ख़बर छत्तीसगढ़
Chhattisgarh Rajat Mahotsav 2025: उपराष्ट्रपति ने छत्तीसगढ़ के 34 अलंकरण से 37 विभूतियों एवं 4 संस्थाओं को किया सम्मानित

Raipur: उप राष्ट्रपति सीपी राधाकृष्णन ने आज नवा रायपुर में छत्तीसगढ़ राज्योत्सव के राज्य अलंकरण समारोह में छत्तीसगढ़ के 34 अलंकरण से विभिन्न क्षेत्रों से उत्कृष्ट योगदान देने वाले 37 विभूतियों एवं 4 संस्थाओं को सम्मानित किया। इस अवसर पर राज्यपाल रमेन डेका ने कार्यक्रम की अध्यक्षता की। मुख्यमंत्री विष्णु देव साय अलंकरण समारोह के अति विशिष्ट अतिथि तथा विशिष्टि अतिथि के रूप में विधानसभा अध्यक्ष डॉ. रमन सिंह, उप मुख्यमंत्री विजय शर्मा, मंत्रीगण, सांसद एवं विधायकगण उपस्थित थे।
राज्य अलंकरण समारोह में उप राष्ट्रपति राधाकृष्णन एवं मुख्यमंत्री साय ने शहीद वीरनारायण सिंह पुरस्कार हिरेश सिन्हा जिला कांकेर को प्रदान किया। यति यतनलाल सम्मान भारतीय कुष्ठ निवारक संघ, कात्रे नगर सोठी जिला जांजगीर-चांपा, गुण्डाधूर सम्मान ज्ञानेश्वरी यादव राजनांदगांव, मिनीमाता सम्मान ललेश्वरी साहू दुर्ग, गुरूघासीदास सम्मान संयुक्त रूप से भुवनदास जांगड़े बेमेतरा एवं शशि गायकवाड़ बलौदाबाजार-भाटापारा, ठाकुर प्यारेलाल सिंह पुरस्कार प्राथमिक कृषि साख सहकारी समिति डोमा जिला धमतरी, हबीब तनवीर सम्मान डॉ. कुंज बिहारी शर्मा जिला रायपुर, महाराजा प्रवीरचंद भंजदेव सम्मान चांदनी साहू जिला बिलासपुर को प्रदान किया गया।
इसी प्रकार पंडित रविशंकर शुक्ल सम्मान राजेश अग्रवाल जिला रायपुर, पंडित सुंदरलाल शर्मा सम्मान डॉ. चिंतरंजन कर जिला रायपुर, चक्रधर सम्मान पंडित कीर्ति माधव लाल व्यास जिला दुर्ग, दाऊ मंदराजी सम्मान रिखी क्षत्रिय जिला दुर्ग, डॉ. खूबचंद बघेल कृषक रत्न पुरस्कार संयुक्त रूप से थनेन्द्र कुमार साहू जिला धमतरी एवं वामन कुमार टिकरिहा जिला बलौदाबाजार, महाराजा अग्रसेन सम्मान राजेन्द्र अग्रवाल राजू जिला बिलासपुर, चन्दूलाल चन्द्राकर स्मृति पत्रकारिता पुरस्कार प्रिंट मीडिया हिन्दी डॉ. संदीप कुमार तिवारी रायपुर एवं इलेक्ट्रॉनिक मीडिया हिन्दी का पुरस्कार संयुक्त रूप से डॉ. सोमेश कुमार पटेल एवं अभिषेक शुक्ला रायपुर, मधुकर खेर स्मृति पत्रकारिता पुरस्कार प्रिंट मीडिया अंग्रेजी भावना पाण्डेय जिला दुर्ग, दानवीर भामाशाह सम्मान नीरज कुमार बाजपेयी जिला राजनांदगांव, धन्वन्तरि सम्मान डॉ. अजय कृष्ण कुलश्रेष्ठ, बिलासादेवी केंवट मत्स्य विकास पुरस्कार सुखदेव दास जिला रायपुर को प्रदान किया गया।
इसी तरह डॉ. भंवरसिंह पोर्ते आदिवासी सेवा सम्मान जंगो रायतार विद्या केतुल शिक्षण संस्था ग्राम दमकसा जिला कांकेर, रामानुज प्रताप सिंहदेव स्मृति श्रम यशस्वी पुरस्कार संयुक्त रूप से मिथलेश कुमार आदिल एवं अग्रसर टीम जिला दुर्ग तथा एनटीपीसी लिमि. लारा सुपर थर्मल पावर प्रोजेक्ट पुसौर जिला रायगढ़ , पंडित लखनलाल मिश्र सम्मान योगेश कुमार साहू जिला कांकेर, छत्तीसगढ़ अप्रवासी भारतीय सम्मान मनीष तिवारी जिला रायपुर, देवदास बंजारे स्मृति पंथी नृत्य पुरस्कार रोहित कुमार कोसरिया जिला महासमुंद, किशोर साहू सम्मान सुनील सोनी जिला रायपुर, लक्ष्मण मस्तुरिया सम्मान राकेश तिवारी जिला रायपुर, लाला जगदलपुरी साहित्य पुरस्कार डॉ. विनोद कुमार वर्मा जिला बिलासपुर, किशोर साहू राष्ट्रीय अलंकरण अनुराग बसु मुम्बई को प्रदान किया गया।
बैरिस्टर ठाकुर छेदीलाल सम्मान संयुक्त रूप से खेमचंद जैन राजनांदगांव, डॉ. सुरेश मणि त्रिपाठी, डॉ. भूपेन्द्र करवंदे एवं भरतलाल सोनी रायपुर को, वीरांगन अवंतिबाई लोधी स्मृति पुरस्कार प्रेमशीला बघेल महासमुंद को, माता बहादुर कलारिन सम्मान शिल्पा पाण्डेय सृष्टि जिला सरगुजा को, पंडित माधव राव सप्रे राष्ट्रीय रचनात्मकता सम्मान अवधेश कुमार नई दिल्ली तथा संस्कृत भाषा सम्मान डॉ. दादू भाई त्रिपाठी जिला रायपुर को प्रदान किया गया।
ख़बर छत्तीसगढ़
Chhattisgarh: नवा रायपुर के आसमान में वायु सेना के विमानों ने दिखाई कलाबाजी, रोमांचक एयर शो देख मंत्रमुग्ध हुए लोग

Raipur: छत्तीसगढ़ राज्य स्थापना की 25वीं वर्षगांठ पर आज नवा रायपुर के सेंध जलाशय के ऊपर भारतीय वायु सेना की प्रतिष्ठित एरोबेटिक “सूर्यकिरण” की टीम ने रोमांचक एयर शो का प्रदर्शन किया। देश के उप राष्ट्रपति सी.पी. राधाकृष्णन, राज्यपाल रमेन डेका, मुख्यमंत्री विष्णु देव साय और विधानसभा अध्यक्ष डॉ. रमन सिंह के साथ हजारों लोगों ने अद्भूत और रोमांचक एयर शो का आनंद लिया। आज प्रदेशवासियों के लिए वायु सेना का एयर शो कमाल का अनुभव रहा।
सेंध जलाशय के ऊपर वायु सेना के फाइटर प्लेन्स ने एक के बाद एक कई हवाई करतब दिखाए। आसमान में पंछियों के झुंड की तरह बिल्कुल क्रम से उड़ने वाले फाइटर प्लेन्स के माध्यम से वायु सेना के जांबाजों ने अपने नियंत्रण और शौर्य का अद्भुत प्रदर्शन किया। विमानों के माध्यम से जब आकाश में तिरंगा लहराया तो सेंध जलाशय भारत माता की जय के नारे से गूंज उठा।


एयर शो के दौरान “सूर्यकिरण” टीम के लीडर ग्रुप कैप्टन अजय दशरथी ने आसमान से छत्तीसगढ़वासियों को रजत महोत्सव की बधाई दी। वहीं छत्तीसगढ़ निवासी भारतीय वायु सेना के स्क्वाड्रन लीडर गौरव पटेल ने सेंध जलाशय के ऊपर अपने कॉकपिट से ‘जय जोहार’ और ‘छत्तीसगढ़िया सबले बढ़िया’ कहकर दर्शकों का अभिवादन किया। उप मुख्यमंत्री विजय शर्मा, कृषि मंत्री रामविचार नेताम, वन एवं जलवायु परिवर्तन मंत्री केदार कश्यप, खाद्य मंत्री दयाल दास बघेल, स्वास्थ्य मंत्री श्याम बिहारी जायसवाल, राजस्व मंत्री टंकराम वर्मा, वित्त मंत्री ओ.पी. चौधरी, महिला एवं बाल विकास मंत्री लक्ष्मी राजवाड़े, कौशल विकास मंत्री गुरू खुशवंत साहेब और सांसद बृजमोहन अग्रवाल सहित विभिन्न निगमों, मंडलों और आयोगों के पदाधिकारी भी एयर शो देखने पहुंचे थे।
“सूर्यकिरण” टीम ने अनुशासन, परस्पर विश्वास, सटीकता और उत्साह के साथ एक घंटे तक वायु सेना के विमानों के साथ कलाबाजी दिखाकर दर्शकों का भरपूर मनोरंजन किया। नवा रायपुर के सेंध जलाशय में मौजूद हजारों दर्शक पायलटों के हैरतअंगेज साहस और करतबों को देखकर मंत्रमुग्ध होते रहे। विंग कमांडर ए.व्ही. सिंह के नेतृत्व में वन-एफ-9 और वन-एफ-8 हेलीकॉप्टर यूनिट ने वी-17 और वी-5 हेलीकॉप्टरों से स्लीपरी और स्काई-ऑपरेशन के करतब दिखाए। ‘आदिदेव’ नाम के इन हेलीकॉप्टरों से केवल 15 मीटर ऊंचाई पर स्थिर रहकर 14 गरूड़ कमांडोज रस्सी के सहारे नीचे उतरे। वहीं स्काई-ऑपरेशन के दौरान आठ गरूड़ कमांडोज रस्सी पर लटककर हेलीकॉप्टर से दर्शकों के सामने से आकाश में उड़ते हुए गुजरे। इन दोनों ऑपरेशनों को लड़ाई और आपदा के दौरान जनसामान्य को बचाने के लिए किया जाता है।
एयर शो में “सूर्यकिरण” की टीम के नौ हॉक-मार्क-123 फाइटर विमानों ने आसमान में हार्ट, डायमंड, लूप, ग्रोवर, डान लाइट, कॉम्बैट तेजस जैसे शानदार फार्मेशन बनाकर लोगों को रोमांचित किया। नीले आसमान में उड़ते लाल-सफेद जेट विमानों द्वारा तिरंगे की आकर्षक ट्रेल छोड़ने पर सेंध जलाशय परिसर तालियों और जय-हिंद के नारों से गूंज उठा। हज़ारों की संख्या में मौजूद नागरिक, युवा और बच्चे लगातार विमानों की कलाबाजियों को अपने कैमरों और मोबाइलों में कैद करते रहे।
वायु सेना के जाबांज फाइटर पायलटों ने आसमान में दिल की आकृति बनाकर 25वें राज्योत्सव की शुभकामनाएं दीं। उन्होंने तिरंगे के तीन रंगों से डीएनए की आकृति बनाकर तिरंगे के प्रति अपना सम्मान प्रस्तुत किया। उन्होंने 360° में फाइटर जेट उड़ाते हुए उल्टा जेट भी उड़ाया। तेजस और युवाओं को समर्पित अंग्रेजी अक्षर ‘वाई’ की आकृति बनाने के साथ ही कई करतब दिखाए। टीम का प्रदर्शन केवल मनोरंजन नहीं, बल्कि युवाओं में देशप्रेम, साहस और भारतीय सशस्त्र बलों में सेवा की प्रेरणा जगाने का संदेश भी देता है।
एयर शो में छत्तीसगढ़ के स्क्वाड्रन लीडर गौरव पटेल का शामिल होना राज्यवासियों के लिए गर्व और भावनात्मक जुड़ाव का पल था। आसमान में अपने विमान को तेज गति से उड़ाते हुए पटेल ने अपने कॉकपिट से ‘जय जोहार’ और ‘छत्तीसगढ़िया सबले बढ़िया’ का जय घोष किया। फ्लाइट लेफ्टिनेंट सुश्री कंवल संधू ने अपनी लाइव कमेंट्री के दौरान एयर शो के रोमांचक वर्णन के साथ ही पायलटों के अनुशासन, समर्पण, प्रशिक्षण और जोखिम प्रबंधन की बारीकियों की जानकारी दी।
‘सूर्यकिरण’ एशिया की एकमात्र नौ लड़ाकू विमानों वाली एरोबैटिक टीम, 1996 में हुई थी स्थापना
भारतीय वायु सेना की सूर्यकिरण एरोबैटिक टीम (Surya Kiran Aerobatic Team) एशिया की एकमात्र नौ लड़ाकू विमानों वाली एरोबैटिक टीम है। यह विशिष्ट टीम भारत में ही निर्मित एचएएल (HAL) लाइसेंस प्राप्त हॉक एमके-132 (Mk-132) विमान उड़ाती है। इन विमानों के ज़रिए भारतीय वायु सेना की सटीकता, पेशेवर उत्कृष्टता और कौशल का अद्भुत प्रदर्शन करती है, जिसमें रोमांचक हवाई करतब और बेहद सटीक फॉर्मेशन शामिल होते हैं। सूर्यकिरण टीम को उसका मिशन विशेष बनाता है। देश के युवाओं को भारतीय सशस्त्र बलों में शामिल होकर देशसेवा के लिए प्रेरित करना इनका मिशन है।
सूर्यकिरण टीम की स्थापना वर्ष 1996 में की गई थी। तब से यह टीम एशिया की एकमात्र नौ-विमानों वाली एरोबैटिक टीम होने का गौरव रखती है और दुनिया की कुछ चुनिंदा शीर्ष एरोबैटिक टीमों में शामिल है। यह असाधारण टीम अब तक भारत भर में 700 से अधिक प्रदर्शन कर चुकी है। साथ ही चीन, श्रीलंका, म्यांमार, थाईलैंड, सिंगापुर और संयुक्त अरब अमीरात (UAE) जैसे कई देशों में भारत का प्रतिनिधित्व अंतरराष्ट्रीय एयर शोज़ में भी किया है। टीम मंं कुल 13 पायलट, 3 इंजीनियरिंग अधिकारी, 1 उद्घोषक (कमेन्टेटर) और 1 चिकित्सा अधिकारी शामिल हैं।
सूर्यकिरण टीम भारतीय वायुसेना की उस भावना को दर्शाती है जो उत्कृष्टता, अनुशासन और टीमवर्क पर आधारित है। टीम के सभी पायलट अत्यंत कठिन प्रशिक्षण से गुजरते हैं, जिसमें जटिल एरोबैटिक मूवमेंट्स का महीनों तक अभ्यास किया जाता है। उनका बेदाग़ तालमेल और नियंत्रण ही क्लोज़ फॉर्मेशन फ्लाइंग की नींव है जहाँ नौ विमान मानो एक ही आत्मा से संचालित प्रतीत होते हैं।
ख़बर छत्तीसगढ़
Bilaspur Train Accident: मृतकों की संख्या बढ़कर 11 हुई, 20 घायल, परिचालन हुआ बहाल

Bilaspur: छत्तीसगढ़ के बिलासपुर में मंगलवार को गेवरा मेमू पैसेंजर ट्रेन और मालगाड़ी में हुई आमने-सामने की टक्कर में अब तक 11 यात्रियों की मौत हो चुकी है। मंगलवार रात तक यह आंकड़ा 8 था। वहीं 20 से अधिक यात्री गंभीर रूप से घायल हैं, जिनमें से कई की हालत नाजुक बनी हुई है। हादसा मंगलवार को उस समय हुआ, जब गेवरा मेमू लोकल ट्रेन बिलासपुर स्टेशन के आउटर पर अपनी रफ्तार से आगे बढ़ रही थी। इसी दौरान उसी ट्रैक पर खड़ी मालगाड़ी से जाकर भिड़ गई।
राहत और बचाव दलों ने गैस कटर से बोगियां काटकर फंसे यात्रियों को बाहर निकाला। कुछ यात्रियों ने खिड़कियों से कूदकर अपनी जान बचाई। देर रात तक रेस्क्यू अभियान चलता रहा। घायल यात्रियों का इलाज के लिए रेलवे अस्पताल, सिम्स और अपोलो अस्पताल में भर्ती कराया गया है। हादसे का कारण अभी स्पष्ट नहीं है, लेकिन शुरुआती जानकारी के अनुसार ऑटो सिग्नल फेल होने की आशंका जताई जा रही है।
रेलवे ने कमिश्नर ऑफ रेलवे सेफ्टी (CRS) से हादसे की जांच के आदेश दिए हैं। जांच रिपोर्ट के बाद ही स्पष्ट होगा कि हादसा किन कारणों से हुआ। रेल मंत्री अश्विनी वैष्णव ने मृतकों के परिजनों को 10 लाख रुपए, गंभीर घायलों को 5 लाख रुपए और सामान्य घायलों को 50 हजार रुपए मुआवजा देने की घोषणा की। वहीं छत्तीसगढ़ सरकार ने भी मृतकों के परिजनों को 5 लाख रुपए और घायलों को 50 हजार रुपए की आर्थिक सहायता देने का ऐलान किया है।
हादसे के बाद करीब 11 घंटे तक रेलवे, जिला प्रशासन, पुलिस, एसडीआरएफ और एनडीआरएफ की टीम राहत और बचाव कार्य में लगी रही। इस दौरान एक-एक कर बोगी में फंसे मृतकों और घायल यात्रियों को बाहर निकाला गया। साथ ही रेलवे की सुरक्षा और टेक्निकल विभाग की टीम रेलवे ट्रैक को सुधारने में भी लगे रही। शाम करीब सात बजे से ही रेलवे ने एक ट्रैक पर परिचालन शुरू कर दिया था। जबकि, मिडिल लाइन को भी देर रात चालू कर लिया गया। बुधवार सुबह सभी लाइनों पर परिचालन बहाल हो गया।
ख़बर छत्तीसगढ़
Chhattisgarh: उपराष्ट्रपति सीपी राधाकृष्णन 5 नवंबर को जारी करेंगे महतारी वंदन योजना की 21वीं किश्त

Raipur: उपराष्ट्रपति सीपी राधाकृष्णन के करकमलों से छत्तीसगढ़ सरकार की महतारी वंदन योजना की लाभार्थी 69 लाख से अधिक महिलाओं को 21वीं किश्त के रूप में 647 करोड़ 28 लाख 36 हजार 500 रूपए की राशि जारी की जाएगी। लाभार्थी महिलाओं में 7658 महिलाएं बस्तर संभाग के उन गांवों की है, जो छत्तीसगढ़ सरकार द्वारा बीते 22 महीनों में संचालित माओवाद उन्मूलन अभियान के चलते माओवाद के प्रभाव से मुक्त हुए हैं। इन महिलाओं को पहली बार इस योजना का लाभ मिलेगा। उपराष्ट्रपति राधाकृष्णन 5 नवंबर को राजनांदगांव में आयोजित लखपति दीदी सम्मेलन में महतारी वंदन योजना की 21वीं किश्त की राशि हितग्राही महिलाओं के बैंक खाते में ऑनलाइन ट्रांसफर करेंगे।
गौरतलब है कि प्रधानमंत्री मोदी की गारंटी को पूरा करते हुए छत्तीसगढ़ सरकार द्वारा महिलाओं को आर्थिक रूप से सक्षम एवं आत्मनिर्भर बनाने के उद्देश्य से महतारी वंदन योजना संचालित की जा रही है। इस योजना के तहत लाभार्थी महिलाओं को प्रतिमाह 1000 रुपए की सहायता राशि दी जाती है। लाभार्थी महिलाओं को 20 किश्तों में अब तक कुल 13,024 करोड़ 40 लाख रुपए की सहायता राशि दी जा चुकी है। 5 नवंबर को 21वीं किश्त की राशि 647.28 करोड़ रुपए की राशि जारी होने के बाद यह आंकड़ा बढ़कर 13,671 करोड़ 68 लाख रुपए हो जाएगा।
यहां यह उल्लेखनीय है कि मुख्यमंत्री विष्णु देव साय की विशेष पहल पर बस्तर संभाग में माओवाद के प्रभाव से मुक्त हुए गांवों में बुनियादी सुविधाओं के विकास एवं ग्रामीणों को सरकारी योजनाओं एवं कार्यक्रमों का लाभ दिलाने के उद्देश्य से नियद नेल्ला नार योजना शुरू की गई है। इस योजना के दायरे में शामिल 327 गांवों में तेजी से विकास के कार्य और ग्रामीणजनों को शासकीय सुविधाओं का लाभ सुनिश्चित किया जा रहा है। इन्हीं प्रयासों के चलते पहली बार नियद नेल्ला नार योजना गांवों की महिलाओं को पात्रता के आधार पर इस योजना में शामिल किया गया है, जिनकी संख्या फिलहाल 7658 है, उन्हें पहली बार 76 लाख 26 हजार 500 रूपए की सहायता राशि इस योजना के तहत मिलेगी।
महिला एवं बाल विकास विभाग से मिली जानकारी के अनुसार नियद नेल्ला नार योजना में शामिल बीजापुर जिले के गांवों की 3872, दंतेवाड़ा जिले की 428, कांकेर जिले की 191, नारायणपुर जिले की 559 तथा सुकमा जिले की 2608 महिलाएं महतारी वंदन योजना की नयी लाभार्थी के रूप में दर्ज की गई है।
मुख्यमंत्री विष्णु देव साय ने कहा है कि नियद नेल्ला नार योजना में शामिल गांवों की शासन की सभी योजनाओं का लाभ ग्रामीणों को दिलाने के लिए छत्तीसगढ़ सरकार द्वारा लगातार पहल की जा रही है। यह खुशी की बात है कि माओवाद आतंक के प्रभाव से मुक्त हुए गांवों की महिलाओं को महतारी वंदन योजना का लाभ मिलने की शुरूआत उपराष्ट्रपति सीपी राधाकृष्णन के करकमलों से हो रही है।
ख़बर छत्तीसगढ़19 hours ago‘वंदे मातरम्” के 150 वर्ष’: राष्ट्रगौरव और जनभागीदारी का वर्षभर चलने वाला उत्सव 7 नवंबर से होगा प्रारंभ
ख़बर देश15 hours agoBihar Election 2025: बिहार में ऐतिहासिक मतदान, पहले चरण में 64.66% बंपर वोटिंग
अर्थ जगत13 hours agoChhattisgarh: क्रेडिट कार्ड, डेबिट कार्ड और यूपीआई से जीएसटी भुगतान की सुविधा छत्तीसगढ़ में लागू













