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Rajim Kumbh Kalpa 2024: गोपा सान्याल की टीम और उर्वसी साहू लोक कलामंच की आज होगी प्रस्तुति

Rajim Kumbh Kalpa 2024: मुख्यमंत्री विष्णुदेव साय ने 7 जनवरी 2024 को राजिम भक्तिन माता जयंती के अवसर पर कहा था कि राजिम कुंभ की भव्यता पुनः लौटेगी। देश भर से साधु संत इसमें शामिल होने आएंगे। मुख्यमंत्री साय की विशेष पहल से राजिम कुंभ की वैभवता पुनः लौट आई है। संस्कृति मंत्री बृजमोहन अग्रवाल की निगरानी में राजिम कुंभ कल्प-2024 इस बार भगवान श्रीराम को समर्पित करते हुए पूरे कुंभ की संरचना श्रीराम की थीम पर आधारित किया गया है।
राममय हुआ राजिम
कुंभ मेला परिसर में जगह-जगह भगवान श्रीराम और उनके आराध्य भगवान सदाशिव की प्रतिमाएं रंगोली और कट-आउट जगह-जगह नजर आने से पूरा राजिम राममय नजर आ रहा है। भगवान श्री राजीव लोचन जो स्वयं भगवान विष्णु के अवतार है, तो प्रभु श्री राम भी विष्णु के अवतार है और यहां पर श्रीराम की थीम पर आयोजित कुंभ में जगह-जगह विराजे राम को देखकर ऐसा लगता है मानो छत्तीसगढ़ की इस पावन धरा में स्थित लोमश ऋषि आश्रम में मानो पुनः राम पधारे हो और संगम के तट पर राम का राम से मिलन हो रहा है।
लेजर लाइट और साउंड शो भर देता है रोमांच
राजिम आने वाले रामभक्तों को लेजर लाइट और साउंड शो के माध्यम से अनुपम छटा का साक्षात्कार शाम को होता है। उपस्थित जन समुदाय भक्ति के उस रोमांच से भाव विभोर हो जाता है, जिसका वर्णन करना जन-साधारण के लिए असंभव है। इस रोमांच को सिर्फ महसूस किया जा सकता है। यहां पर आने वाले स्थानीय लोक मंच के कलाकार सहित राष्ट्रीय स्तर के कलाकारों की गायिकी में भी राम रस बरसता हुआ नजर आ रहा है।
झांकियां कर रहीं आकर्षित
राजिम कुंभ मेला स्थल में प्रभु श्री राम के जीवन चरित्र और उनके छत्तीसगढ़ वनवास अवधि पर आधारित जीवंत झांकी का प्रदर्शन किया जा रहा है। जोकि मेला में पहुंचने वाले समस्त श्रद्धालुओं को अपनी ओर सहर्ष आकर्षित कर रहा है। लोग धार्मिक सद्भाव और मर्यादा पुरुषोत्तम श्री राम के आदर्शो को अनुभव कर इस झांकी आनंद उठा रहे हैं।
आज मुख्य मंच पर होगी गोपा सान्याल की टीम और उर्वसी साहू लोक कलामंच की प्रस्तुति
मेला में मुख्यमंच पर राष्ट्रीय एवं लोक कलाकारों की प्रस्तुति देखकर दर्शक भी झूमने को मजबूर हो रहे हैं। 24 फरवरी से शुरू हुए राजिम कुंभ के दूसरे दिन रविवार को मुख्यमंच पर छत्तीसगढ़ के फिल्म स्टार राजेश अवस्थी की शानदार प्रस्तुति देखकर दर्शक भी नाचने थिरकने लगे। मुख्य मंच पर कार्यक्रम की पहली प्रस्तुति लोकधारा के संचालक राजेश साहू करडरका कुम्हारी ने गणेश वंदना के साथ शुरूआत की। कुमार पण्डित ने शास्त्रीय गीतों की प्रस्तुति दी। कार्यक्रम की अंतिम प्रस्तुति अमर श्रीवास की टीम द्वारा छतीसगढ की परंपरा को जीवंत दिखाने का बखूबी प्रयास किया। मंगलवार 27 फरवरी को मुख्यमंच पर गोपा सान्याल की टीम और उर्वसी साहू लोक कलामंच की प्रस्तुति होगी। अन्य कार्यक्रमों में भावना टांक रायपुर द्वारा गायन, रोशन कुमार साहू नंदनी द्वारा हमर छत्तीसढ़ लोकमंच की प्रस्तति होगी।
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Chhattisgarh: प्लास्टिक कचरे के बदले भोजन देने वाली अनोखी पहल ‘गार्बेज कैफे’ को देशभर में मिली पहचान, प्रधानमंत्री मोदी ने ‘मन की बात’ में सराहा

‘Mann Ki Baat’: प्रधानमंत्री मोदी ने आज मन की बात’ कार्यक्रम में अंबिकापुर नगर निगम की अनूठी पहल ‘गार्बेज कैफे’ की सराहना की। ‘गार्बेज कैफे’ में प्लास्टिक कचरा देने वालों को भोजन उपलब्ध कराया जाता है। मुख्यमंत्री साय ने कहा कि छत्तीसगढ़ के नवाचारों और माओवाद उन्मूलन के संकल्प का उल्लेख होना प्रदेशवासियों के लिए गौरव की बात है। प्रधानमंत्री मोदी द्वारा अंबिकापुर के ‘गार्बेज कैफे’ का उल्लेख किए जाने पर मुख्यमंत्री साय ने इसे पूरे प्रदेश के लिए सम्मान बताया। सीएम साय ने राजधानी रायपुर के शांति नगर में ‘मन की बात’ के 127वें संस्करण का श्रवण किया।
मुख्यमंत्री साय ने छठ पर्व की शुभकामनाएं देते हुए कहा कि ‘मन की बात’ देशभर में हो रहे नवाचारी, प्रेरणादायी और जनहितकारी कार्यों को जोड़ने वाला एक विशेष मंच है, जो समाज में सकारात्मक परिवर्तन लाने वालों प्रयासों को राष्ट्रीय पहचान दिलाता है। उन्होंने कहा कि कार्यक्रम में छत्तीसगढ़ का उल्लेख होना प्रत्येक नागरिक के लिए गर्व का विषय है।
मुख्यमंत्री साय ने कहा कि प्रधानमंत्री मोदी ने अंबिकापुर नगर निगम की अनूठी पहल ‘गार्बेज कैफे’ की सराहना की, जिसने प्लास्टिक मुक्त शहर की दिशा में एक मिसाल कायम की है। यहां प्लास्टिक कचरा देने वालों को भोजन उपलब्ध कराया जाता है। यह पहल स्वच्छता, पुनर्चक्रण और सामाजिक संवेदना का अद्भुत उदाहरण बन चुकी है। अंबिकापुर में शहर से प्लास्टिक कचरा साफ करने के लिए यह एक अनोखी पहल की गई है। अंबिकापुर में गार्बेज कैफे चलाए जा रहे हैं। ये ऐसे कैफे हैं, जहां प्लास्टिक कचरा लेकर जाने पर भरपेट खाना खिलाया जाता है। अगर कोई व्यक्ति एक किलो प्लास्टिक लेकर जाए उसे दोपहर या रात का खाना मिलता है और कोई आधा किलो प्लास्टिक ले जाए तो नाश्ता मिल जाता है। ये कैफे अंबिकापुर म्युनिसिपल कॉरपोरेशन चलाता है।
मुख्यमंत्री साय ने कहा कि प्रधानमंत्री ने त्योहारों की बढ़ी रौनक, सामाजिक एकता के प्रतीक छठ पर्व और नए आत्मविश्वास से आगे बढ़ते भारत की भावना का उल्लेख किया। उन्होंने कहा कि माओवादी गतिविधियों के सिमटते प्रभाव पर गर्व का अनुभव होता है। डबल इंजन की सरकार के मजबूत संकल्प से देश में शांति और सुरक्षा की दिशा में उल्लेखनीय परिणाम मिल रहे हैं। उन्होंने कहा कि नियद नेल्ला नार योजना के माध्यम से अब मूलभूत सुविधाएं सुदूर गांवों तक पहुंच रही हैं।
मुख्यमंत्री ने कहा कि ‘ऑपरेशन सिंदूर’ ने हर भारतीय को गर्व से भर दिया है। इस बार उन इलाकों में भी खुशियों के दीप जले हैं, जहां कभी माओवादी आतंक का अंधेरा छाया रहता था। उन्होंने कहा कि लोग उस माओवादी आतंक का जड़ से खात्मा चाहते हैं जिसने उनके बच्चों के भविष्य को संकट में डाल दिया था।
साय ने आगे कहा कि प्रधानमंत्री ने सुरक्षा एजेंसियों में भारतीय नस्ल के श्वानों को शामिल किए जाने के निर्णय की भी सराहना की। उदाहरण देते हुए उन्होंने कहा कि छत्तीसगढ़ के माओवाद प्रभावित क्षेत्र में एक देशी श्वान ने 8 किलो विस्फोटक का पता लगाकर जवानों की जान बचाई। यह सिद्ध करता है कि भारतीय नस्ल के श्वान अधिक अनुकूल, दक्ष और विश्वसनीय हैं।
मुख्यमंत्री ने पुंगनूर नस्ल की गायों को खिलाया चारा
‘मन की बात’ कार्यक्रम के उपरांत मुख्यमंत्री साय ने पुंगनूर नस्ल की गायों को चारा खिलाया और उनकी विशेषताओं की जानकारी ली। उल्लेखनीय है कि आंध्र प्रदेश में पाई जाने वाली यह विशेष नस्ल अपनी अनूठी शारीरिक बनावट और विशिष्ट गुणों के कारण प्रसिद्ध है।कार्यक्रम में विधायक पुरन्दर मिश्रा, छत्तीसगढ़ राज्य औद्योगिक विकास निगम के अध्यक्ष राजीव अग्रवाल, छत्तीसगढ़ माटी कला बोर्ड के अध्यक्ष शंभूनाथ चक्रवर्ती, छत्तीसगढ़ अल्पसंख्यक आयोग के अध्यक्ष अमरजीत छाबड़ा सहित अनेक जनप्रतिनिधिगण भी उपस्थित थे।
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Chhattisgarh: डिप्टी सीएम विजय शर्मा ने बस्तर ओलंपिक 2025 का किया शुभारंभ, तीन चरणों में आयोजित होगी प्रतियोगिता

Narayanpur: छत्तीसगढ़ शासन द्वारा पारंपरिक खेलों को प्रोत्साहित करने, बस्तर संभाग के जनजातीय बहुल एवं नक्सल प्रभावित क्षेत्रों में युवाओं की खेल प्रतिभा को पहचानने और उन्हें मुख्यधारा से जोड़ने के उद्देश्य से ‘बस्तर ओलंपिक 2025’ का आयोजन किया जा रहा है। जिसका नारायणपुर के सुदूर वनांचल ग्राम कच्चापाल में शुभारंभ आज उप मुख्यमंत्री विजय शर्मा द्वारा किया गया। इस अवसर पर ईरकभट्टी और कच्चापाल की ग्रामीण महिलाओं के मध्य रस्साकसी प्रतियोगिता आयोजित की गई, जिसमें ईरकभट्टी के महिलाओं ने बाजी मारी।
उपमुख्यमंत्री ने खिलाड़ियों से मुलाकात कर सभी का उत्साहवर्धन भी किया। उन्होंने खिलाड़ियों में उत्साह को देखते हुए सभी को बस्तर ओलंपिक 2025 की टीशर्ट का वितरण किया। यह प्रतियोगिता विकासखंड, जिला और संभाग स्तर पर तीन चरणों में आयोजित होगी। बस्तर ओलंपिक 2025 में बस्तर संभाग में 03 लाख 80 हजार से अधिक प्रतिभागियों ने भाग ले रहे हैं, जिसमें नारायणपुर में 47 हजार से अधिक प्रतिभागी शामिल हैं।
इस कार्यक्रम में उपमुख्यमंत्री शर्मा ने ग्रामीणों को संबोधित करते हुए कहा कि बस्तर ओलंपिक केवल खेल नहीं है यह बस्तर की समरसता, बंधुत्व, विश्वास और एकता का प्रतीक भी है। यह ओलंपिक बस्तर के युवाओं को अपनी नैसर्गिक प्रतिभा के प्रदर्शन का एक मंच प्रदान करने के साथ उनमें आत्मविश्वास जगाने और खेल प्रतिभाओं को आगे बढ़ाने का एक माध्यम भी है। हमें पूरा भरोसा है कि इस ओलंपिक के माध्यम से अंतरराष्ट्रीय स्तर के खिलाड़ी भी प्रदेश को मिलेंगे जो प्रदेश में ही नहीं बल्कि पूरे विश्व में बस्तर का नाम ऊंचा करेंगे।
इस अवसर पर जिला पंचायत अध्यक्ष नारायण मरकाम, उपाध्यक्ष प्रताप सिंह मंडावी, एडीजी विवेकानंद सिन्हा, कमिश्नर डोमन सिंह, आईजी सुंदरराज पी, कलेक्टर प्रतिष्ठा ममगाईं, एसपी रॉबिंसन गुड़िया, एसडीएम ओरछा डॉ. सुमित गर्ग, जनपद उपाध्यक्ष ओरछा मंगडूराम नूरेटी, सरपंच कच्चापाल रजमा नूरेटी, जनपद सदस्य जनप्रतिनिधि सहित बड़ी संख्या में ग्रामीणजन उपस्थित थे।
उल्लेखनीय है कि बस्तर ओलंपिक का आयोजन 25 अक्टूबर से 30 नवम्बर तक विकासखंड स्तर, जिला स्तर एवं संभाग पर किया जाएगा। जिसमें एथलेटिक्स, तीरंदाजी, बैडमिंटन, फुटबॉल, कराटे, कबड्डी, खो-खो, वॉलीबॉल, रस्साकसी, हॉकी और वेटलिफ्टिंग जैसी खेल प्रतियोगिताएं आयोजित की जाएंगी। जहां जूनियर वर्ग (14 से 17 वर्ष) और सीनियर वर्ग (17 वर्ष से अधिक) के साथ दिव्यांग खिलाड़ी और आत्मसमर्पित नक्सली भी सीधे संभाग स्तर की प्रतियोगिताओं में भाग लेंगे।
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Chhattisgarh: प्रदेश में 5000 शिक्षक भर्ती का रास्ता साफ, वित्त विभाग ने दी भर्ती की सहमति

Raipur: मुख्यमंत्री विष्णुदेव साय के नेतृत्व में प्रदेश में शिक्षा व्यवस्था को सुदृढ़ करने की दिशा में एक और बड़ा कदम उठाया गया है। राज्य शासन के वित्त विभाग ने आज 5000 शिक्षकों के पदों पर भर्ती की सहमति प्रदान कर दी है। यह निर्णय मुख्यमंत्री साय की उस घोषणा के अनुरूप है, जिसमें उन्होंने प्रदेश के शैक्षणिक ढांचे को मज़बूत बनाने और गुणवत्तापूर्ण शिक्षा सुनिश्चित करने की प्रतिबद्धता व्यक्त की थी।
मुख्यमंत्री साय ने कहा कि शिक्षा किसी भी राज्य की प्रगति की नींव होती है, और छत्तीसगढ़ सरकार का उद्देश्य है कि हर बच्चे तक ज्ञान और अवसर दोनों पहुंचे। उन्होंने कहा कि यह भर्ती न केवल शिक्षण व्यवस्था को गति देगी बल्कि युवाओं के लिए रोज़गार के नए अवसर भी सृजित करेगी।
मुख्यमंत्री साय ने वित्त विभाग द्वारा दी गई सहमति को ‘नए छत्तीसगढ़ के निर्माण की दिशा में ऐतिहासिक कदम’ बताया। 5000 पदों हेतु शिक्षा विभाग शीघ्र भर्ती प्रक्रिया प्रारम्भ करेगा। इन पदों की पूर्ति से ग्रामीण एवं आदिवासी अंचलों में शिक्षकों की कमी काफी हद तक दूर होगी, जिससे शिक्षण की निरंतरता और गुणवत्ता में उल्लेखनीय सुधार होगा।
राज्य शासन ने पिछले कुछ महीनों में शिक्षा सुधार से जुड़े कई महत्वपूर्ण निर्णय लिए हैं। विद्यालय भवनों के निर्माण, डिजिटल शिक्षा सामग्री के प्रसार, और शिक्षकों के प्रशिक्षण कार्यक्रमों के माध्यम से प्रदेश में शिक्षा की गुणवत्ता को नई ऊँचाइयों पर ले जाने का लक्ष्य रखा गया है।
प्रदेश में शिक्षकों की कमी लंबे समय से एक प्रमुख चुनौती रही है। कई ग्रामीण क्षेत्रों में विद्यालयों में विषयवार शिक्षकों की उपलब्धता सीमित थी। नई भर्ती से इन क्षेत्रों में शिक्षा व्यवस्था को सुदृढ़ किया जाएगा, जिससे बच्चों को अब अपने ही गांव और क्षेत्र में बेहतर शिक्षा प्राप्त करने का अवसर मिलेगा। साथ ही, यह पहल प्रदेश में शिक्षण के स्तर को राष्ट्रीय औसत के बराबर लाने में सहायक सिद्ध होगी।
मुख्यमंत्री साय के नेतृत्व में प्रदेश सरकार शिक्षा को सर्वांगीण विकास का आधार मानते हुए लगातार निवेश कर रही है। स्कूल इन्फ्रास्ट्रक्चर के आधुनिकीकरण से लेकर छात्रवृत्ति, मध्याह्न भोजन और छात्र हितैषी योजनाओं तक, सरकार का फोकस हर स्तर पर शिक्षा के दायरे को व्यापक बनाना है। शिक्षकों की यह नई भर्ती उसी दीर्घकालिक दृष्टि का हिस्सा है, जो ‘विकसित छत्तीसगढ़’ के विज़न को साकार करने की दिशा में अग्रसर है। इस निर्णय से जहाँ शिक्षा प्रणाली को नई ऊर्जा मिलेगी, वहीं हजारों युवाओं के सपनों को साकार करने का मार्ग भी खुलेगा। यह पहल मुख्यमंत्री विष्णुदेव साय के नेतृत्व में ‘शिक्षित, सक्षम और आत्मनिर्भर छत्तीसगढ़’ की दिशा में एक निर्णायक कदम साबित होगी।
“मुख्यमंत्री विष्णुदेव साय जी की मंशा के अनुरूप शिक्षा को राज्य की शीर्ष प्राथमिकता बनाया गया है। वित्त विभाग द्वारा 5000 शिक्षकों के पदों की भर्ती की सहमति देना इसी संकल्प का हिस्सा है। शिक्षा में किया गया प्रत्येक निवेश प्रदेश के भविष्य में किया गया निवेश है। इस निर्णय से स्कूलों में शिक्षकों की कमी पूरी होगी, ग्रामीण व आदिवासी अंचलों में पढ़ाई की गुणवत्ता बढ़ेगी और हजारों युवाओं को रोजगार के अवसर मिलेंगे। वित्तीय अनुशासन बनाए रखते हुए शिक्षा जैसे मूलभूत क्षेत्र को संसाधन उपलब्ध कराना हमारी सरकार की जिम्मेदारी और प्रतिबद्धता दोनों है।” – वित्त मंत्री ओ.पी. चौधरी
“शिक्षा राज्य के विकास की सबसे सशक्त आधारशिला है। हमारी सरकार का संकल्प है कि छत्तीसगढ़ के हर बच्चे को गुणवत्तापूर्ण शिक्षा मिले और हर विद्यालय में योग्य शिक्षक उपलब्ध हों। वित्त विभाग द्वारा 5000 शिक्षकों के पदों पर भर्ती की सहमति उसी दिशा में एक बड़ा कदम है। यह निर्णय न केवल शिक्षा के क्षेत्र को सशक्त करेगा, बल्कि प्रदेश के युवाओं के लिए रोजगार के अवसर भी बढ़ाएगा।” – मुख्यमंत्री विष्णु देव साय
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Chhattisgarh: मुख्यमंत्री साय की एक और घोषणा पर लगी मुहर, 9 नए नर्सिंग कॉलेजों के भवन निर्माण को मिली प्रशासकीय स्वीकृति

Raipur: मुख्यमंत्री विष्णुदेव साय की एक और महत्वपूर्ण घोषणा को राज्य सरकार ने मूर्त रूप दे दिया है। राज्य बजट में शामिल 9 नवीन नर्सिंग महाविद्यालयों के भवन निर्माण कार्य के लिए 78 करोड़ 15 लाख रुपए की प्रशासकीय स्वीकृति जारी कर दी गई है। स्वास्थ्य मंत्री श्याम बिहारी जायसवाल ने इस स्वीकृति के लिए मुख्यमंत्री विष्णुदेव साय और वित्त मंत्री ओपी चौधरी का आभार व्यक्त किया है। उन्होंने कहा कि यह निर्णय प्रदेश में नर्सिंग शिक्षा को नई दिशा देगा और स्वास्थ्य क्षेत्र में कुशल मानव संसाधन तैयार करने में मदद करेगा।
प्रत्येक नर्सिंग महाविद्यालय के भवन निर्माण के लिए 8 करोड़ 68 लाख रुपए की राशि स्वीकृत की गई है। ये नवीन नर्सिंग कॉलेज दंतेवाड़ा, बैकुंठपुर, बीजापुर, बलरामपुर, जशपुर, रायगढ़, धमतरी, जांजगीर-चांपा और नवा रायपुर (अटल नगर) में स्थापित किए जाएंगे। इन संस्थानों की स्थापना से प्रदेश के दूरस्थ और जनजातीय अंचलों के विद्यार्थियों को भी गुणवत्तापूर्ण नर्सिंग शिक्षा प्राप्त करने का अवसर मिलेगा, जिससे स्थानीय युवाओं को रोजगार के नए द्वार खुलेंगे और राज्य के स्वास्थ्य क्षेत्र में प्रशिक्षित मानव संसाधन की उपलब्धता और सुदृढ़ होगी।
“हमारा उद्देश्य है कि प्रदेश के हर युवा को गुणवत्तापूर्ण स्वास्थ्य शिक्षा मिले और हर जिले में आधुनिक स्वास्थ्य सेवाओं के लिए कुशल मानव संसाधन भी तैयार हो। 9 नए नर्सिंग कॉलेजों के भवन निर्माण की स्वीकृति प्रदेश के स्वास्थ्य शिक्षा क्षेत्र में एक नया अध्याय जोड़ेगी। यह पहल न केवल स्वास्थ्य व्यवस्था को सशक्त बनाएगी, बल्कि युवाओं के लिए रोजगार और आत्मनिर्भरता के अवसर भी बढ़ाएगी।”
-मुख्यमंत्री विष्णुदेव साय
“मुख्यमंत्री विष्णुदेव साय के दूरदर्शी नेतृत्व में राज्य सरकार ने स्वास्थ्य शिक्षा को नई दिशा देने वाला ऐतिहासिक निर्णय लिया है। 9 नए नर्सिंग कॉलेजों के भवन निर्माण की स्वीकृति से प्रदेश के युवाओं को गुणवत्तापूर्ण नर्सिंग शिक्षा के साथ ही रोजगार और आत्मनिर्भरता के बेहतर अवसर प्राप्त होंगे। यह पहल छत्तीसगढ़ को स्वास्थ्य सेवाओं और मानव संसाधन विकास के क्षेत्र में नए आयाम स्थापित करने में मदद करेगी।”- स्वास्थ्य मंत्री श्याम बिहारी जायसवाल
“मुख्यमंत्री विष्णुदेव साय के नेतृत्व में राज्य सरकार शिक्षा और स्वास्थ्य जैसे बुनियादी क्षेत्रों को प्राथमिकता दे रही है। 9 नए नर्सिंग कॉलेजों के भवन निर्माण के लिए 78 करोड़ 15 लाख रुपए की स्वीकृति इस बात का प्रतीक है कि सरकार प्रदेश के युवाओं के लिए अवसर सृजन और सेवा क्षेत्र को सशक्त बनाने के लिए प्रतिबद्ध है।” – वित्त मंत्री ओ पी चौधरी
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Raipur: प्रदेश में 4 जिलों के एसपी समेत 7 आईपीएस के ट्रांसफर, अंकिता शर्मा को राजनांदगांव, प्रफुल्ल ठाकुर को सक्ती जिले की कमान

Raipur: छत्तीसगढ़ में शुक्रवार देर शाम पुलिस विभाग में बड़ा फेरबदल हुआ है। छत्तीसगढ़ शासन के गृह विभाग ने 4 जिलों के पुलिस अधीक्षक समेत 7 आईपीएस के ट्रांसफर आदेश जारी किए हैं। जारी आदेश के अनुसार वरिष्ठ पुलिस अधीक्षक मोहित गर्ग को राजनांदगांव से DIG पुलिस मुख्यालय भेजा गया है। उनकी जगह सक्ती जिले की एसपी अंकिता शर्मा को राजनांदगांव का पुलिस अधीक्षक बनाया गया है। प्रफुल्ल ठाकुर को सक्ती जिले का नया पुलिस कप्तान बनाया गया है।
मनेंद्रगढ़-चिरमिरी-भरतपुर के एसपी IPS चंद्रमोहन सिंह को दमकल-नगर सेना का डायरेक्टर बनाया गया है। वहीं रतना सिंह को मनेंद्रगढ़ जिले का एसपी पदस्थ किया गया है। पंकज चंद्रा अब कोंडागांव जिले के नए पुलिस अधीक्षक होंगे। गृह विभाग ने सभी अफसरों को तुरंत पदभार ग्रहण कर इसकी सूचना विभाग को देने के निर्देश दिए हैं।

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