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कलेक्टर-कमिश्नर कॉन्फ्रेंस: सुशासन पर CM की सीख, आप जैसा काम करेंगे सरकार की वैसी छवि बनेगी
MP News: मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान ने आज कलेक्टर्स-कमिश्नर कॉन्फ्रेंस को संबोधित किया। मंत्रालय में हुई कॉन्फ्रेंस में मुख्य सचिव इकबाल सिंह बैंस सहित प्रमुख विभागों के अपर मुख्य सचिव, प्रमुख सचिव, समस्त कमिश्नर और कलेक्टर उपस्थित थे। कान्फ्रेंस में विकास यात्रा, पेसा नियम 2022, मुख्यमंत्री आवासीय भू-अधिकार योजना, प्रधानमंत्री आवास योजना, नगरीय क्षेत्रों में अनाधिकृत कॉलोनियों के विकास, जल जीवन मिशन, सीएम राइज स्कूल, शिशु एवं मातृ मृत्यु दर कम करने के लिए जारी प्रयासों, आयुष्मान भारत निरामय मध्यप्रदेश, सार्वजनिक वितरण प्रणाली, मुख्यमंत्री कन्या विवाह/निकाह योजना, दिव्यांगजनों को कृत्रिम अंग तथा उपकरण वितरण और संबल-2 योजना के क्रियान्वयन की समीक्षा की गई।
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इंदौर, सीहोर और डिंडौरी कलेक्टर के काम को सराहा
मुख्यमंत्री चौहान ने कहा कि जिलों में काम कर रहे अधिकारियों के प्रयासों से ही विकास और जन-कल्याण के क्षेत्र में सकारात्मक परिणाम प्राप्त होंगे। इंदौर कलेक्टर ने जनसुनवाई, सीहोर कलेक्टर ने शिक्षिकों के सहयोग से स्मार्ट क्लास आरंभ करने और डिंडौरी कलेक्टर ने जनसमस्याओं के प्रति संवेदनशीलता और उनके त्वरित निराकरण में सराहनीय कार्य किया है। प्रदेश के अन्य जिलों में भी कलेक्टर अपने स्तर पर नवाचार कर रहे हैं। अधिकारी अपने कैरियर में सामान्यत: 6 से 8 साल की अवधि तक जिला कलेक्टर के रूप में कार्य करते हैं। इस अवधि में पूरा परिश्रम, उत्साह, बाधाओं का सामना करने की क्षमता और विजन के साथ मिशन मोड में इस प्रकार काम करें कि यह अवधि जीवनभर आपको संतोष दे और आपका कार्यकाल सकारात्मक रूप से याद किया जाए।
आप जैसा कार्य करेंगे, शासन की छवि वैसी ही निर्मित होगी
मुख्यमंत्री ने कहा कि जिला और संभागों में कलेक्टर-कमिश्नर ही शासन के प्रतिनिधि हैं। आप जैसा कार्य करेंगे, शासन की छवि वैसी ही निर्मित होगी। लोकतंत्र में हमारा लक्ष्य जनता का कल्याण और उन्हें बेहतर जीवन देना है। प्रदेशवासियों को बिना परेशानी के समय-सीमा में बिना लिए-दिए योजनाओं का लाभ मिले और उनके शासन से संबंधित कार्य सरलता से हों, यही सुशासन है। हमें अपने-अपने क्षेत्र में सुशासन सुनिश्चित करने के लिए आवश्यक सतर्कता और सावधानी बनाए रखना आवश्यक है। बेहतर छवि के लिए नकारात्मक समाचारों का तत्काल खंडन और त्वरित कार्यवाही की जाए।
बहुउद्देश्यीय और बहुपयोगी हों विकास यात्राएं
प्रदेश में 5 फरवरी से आरंभ हो रही विकास यात्राओं के लिए जारी तैयारियों की मुख्यमंत्री चौहान ने समीक्षा की। यात्रा की विकास पताका होगी तथा विकास रथ द्वारा क्षेत्र में हुए निर्माण कार्यों, विकास गतिविधियों और जन-कल्याणकारी योजनाओं की जानकारी दी जाएगी। मुख्यमंत्री ने कहा कि विकास यात्राओं में क्षेत्र के पंच-सरपंच, पार्षद सहित सभी जन-प्रतिनिधि, दीनदयाल अंत्योदय समिति के सदस्यों, महिला स्व-सहायता समूहों को जोड़ा जाए। क्षेत्र की लाड़ली लक्ष्मियां भी बालिकाओं को स्कूल शिक्षा तथा उनके लिए संचालित अन्य योजनाओं की जानकारी दें। विकास यात्रा में सभी गांवों में जन-सभाएं की जाएं। यात्रा को बहुउद्देश्यीय और बहुउपयोगी बनाने के लिए योजनाओं की जानकारी और उनका लाभ देने, शिलान्यास और भूमि-पूजन के साथ आंगनवाड़ी, स्कूल, राशन दुकान, होस्टल आदि का निरीक्षण भी किया जाए। विकास यात्रा इस स्वरूप में हो कि यात्रा आरंभ से ही जन-सामान्य की चर्चा, रूचि और अपेक्षाओं की पूर्ति का माध्यम बने और लोग इससे लाभान्वित हों।
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MP News: मध्यप्रदेश में कांग्रेस जिला स्तर पर करेगी बड़ा बदलाव, पीसीसी चीफ पटवारी ने मांगी रिपोर्ट
Bhopal: कांग्रेस ने एमपी में प्रदेश स्तरीय कार्यकारिणी घोषित करने के बाद अब जिला, ब्लॉक स्तर पर बदलाव की तैयारी तेज कर दी है। आने वाले दिनों में बड़ा बदलाव देखने को मिलेगा। जिलों में संगठन की कमान नए चेहरों दी जाएगी। यह बदलाव अगले दो महीने में किया जाएगा। पीसीसी चीफ इसे लेकर तैयारी शुरू कर दिया है। एक दिन पहले जिला और सहप्रभारियों की बैठक में प्रदेश कांग्रेस अध्यक्ष जीतू पटवारी ने बताया है।
पीसीसी चीफ पटवारी ने प्रभारियों से मांगी रिपोर्ट
पीसीसी में अयोजित बैठक में प्रदेश अध्यक्ष जीतू पटवारी ने प्रभारियों से 25 दिसंबर तक अपनी रिपोर्ट पेश करने को कहा है। साथ में जिले और ब्लॉक अध्यक्षों के लिए नाम भी मांगे हैं। जानकारी से मुताबिक प्रभारियों और सह प्रभारियों ने जिलों का फीड बैंक रखा दिया। इसमें सामने आया कि निचले स्तर पर संगठन में बड़े बदलाव की जरूरत है। सुझाव दिया गया कि जिले से लेकर ब्लॉक तक नए चेहरों को कमान सौंपी जाए।
मोहल्ला और वार्ड कमेटियों का गठन करने के निर्देश
पीसीसी चीफ पटवारी अपनी टीम में काम करने वाले कार्यकर्ताओं को प्राथमिकता दे रहे हैं। प्रदेश कार्यकारिणी में भी इसका विशेष ख्याल रखा गया है। अब बैठक में जीतू पटवारी ने कहा कि जिन जिलों में संगठन निष्क्रिय हैं, वहां नए लोगों को मौका दिया जाएगा। ऐसे लोगों के नाम तय किए जाएं, जो सक्रिय हों और कार्यकर्ताओं को साथ लेकर चल सके। जो जिला और ब्लॉक अध्यक्ष सक्रियता से काम कर रहे हैं, उन्हें फिर से मौका दिया जाए। सभी के नामों की घोषणा दोबारा की जाएगी। उन्होंने मोहल्ला और वार्ड कमेटियों का गठन करने के निर्देश भी दिए हैं।
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MP Board: बोर्ड परीक्षा की तैयारी कर रहे छात्रों के लिए सैंपल पेपर अपलोड, इस बार छोटे प्रश्न ज्यादा आएंगे
Bhopal: मध्यप्रदेश माध्यमिक शिक्षा मंडल की 25 फरवरी से शुरू हो रही परीक्षाओं की तैयारी जोरों पर है। कमजोर विद्यार्थियों के लिए स्कूलों में अलग से कक्षाएं लगाई जा रही हैं। वहीं छुट्टी के दिन भी विद्यार्थियों को बुलाकर तैयारी करवाई जा रही है। एमपी बोर्ड ने इस वर्ष होने वाली परीक्षाओं के सैंपल पेपर वेबसाइट पर अपलोड कर दिए हैं। विद्यार्थियों को तैयारी करने के लिए करीब ढाई माह का समय शेष है।खास बात यह है कि इस बार दो अंक के छोटे प्रश्नों की संख्या ज्यादा होगी। वस्तुनिष्ट प्रश्न 30 अंक के होंगे, जबकि दीर्घउत्तरीय बड़े प्रश्नों की संख्या कम होगी। इसी हिसाब से स्कूलों में सैंपल पेपर से तैयारी कराने के निर्देश दिए गए हैं। 10वीं का प्रश्नपत्र 75 अंक का और आंतरिक मूल्यांकन 25 अंक का होगा। वहीं 12वीं का प्रैक्टिकल वाले विषयों का पेपर 70 अंक का और 20 अंक का आंतरिक मूल्यांकन होगा। नान प्रैक्टिकल वाले विषयों का पेपर 80 अंक का होगा।
यह बदलाव भी किए गए
एमपी बोर्ड जुलाई में सभी विषयों के चैप्टरों का समूह बनाकर अंक योजना जारी कर चुका है। माशिमं की 10वीं व 12वीं परीक्षा में पिछले साल तक विषयवार चैप्टरों के अनुसार अंक योजना निर्धारित की थी। इसमें बताया गया था कि किस विषय का कौन सा चैप्टर से कितने अंक के प्रश्र प्रश्नपत्र में आएंगे, लेकिन इस बार इसमें बदलाव किया गया है। वर्ष 2024-25 की परीक्षा में विषय में चैप्टरों का समूह बनाया गया है।
12वीं बोर्ड परीक्षा में ऐसा रहेगा पैटर्न
वस्तुनिष्ठ प्रश्न – 32 अंक
10 प्रश्र – दो अंक-
चार प्रश्र – तीन अंक
चार प्रश्र – चार अंक
प्रैक्टिकल वाले विषय के प्रश्नपत्र-70 अंक
प्रैक्टिकल – 30 अंक
10वीं बोर्ड परीक्षा में ऐसा रहेगा पैटर्न
वस्तुनिष्ट प्रश्न – छह
रिक्त स्थानों की पूर्ति – छह अंक
सही गलत प्रश्न – छह अंक
सही जोड़ी बनाओ – छह अंक
एक वाक्य में उत्तर – छह अंक
12 प्रश्र – दो-दो अंक
तीन प्रश्न – तीन-तीन अंक
तीन प्रश्न – चार-चार अंक
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MP Cabinet: इंदौर- उज्जैन के बीच बनेगा एक और फोर लेन, सिंहस्थ फोरलेन बायपास भी मंजूर
Bhopal: मुख्यमंत्री डॉ. मोहन यादव की अध्यक्षता में बुधवार को मंत्रि-परिषद की बैठक मंत्रालय में हुई। मंत्रि-परिषद द्वारा आगामी सिंहस्थ-2028 को देखते हुए इंदौर-उज्जैन में 2312 करोड़ रुपए से अधिक राशि के सड़क निर्माण कार्यों की स्वीकृति दी गयी। इसमें उज्जैन सिंहस्थ बायपास लंबाई 19.815 किमी, 4-लेन मय पेव्हड शोल्डर उन्नयन एवं निर्माण कार्य लागत राशि 701 करोड़ 86 लाख रुपए की स्वीकृति दी गई। इसी प्रकार इंदौर-उज्जैन ग्रीनफील्ड मार्ग 4-लेन मय पेव्हड शोल्डर लंबाई 48.05 कि.मी. एवं लागत राशि 1370 करोड़ 85 लाख रुपए और उज्जैन जिला अंतर्गत इंगोरिया-देपालपुर 2-लेन मय पेव्हड शोल्डर सड़क लंबाई 32.60 कि.मी. लागत राशि 239 करोड़ 38 लाख रुपए की स्वीकृति दी गयी है। ये सभी सड़कें म.प्र. सड़क विकास निगम के माध्यम से विकसित की जायेगी।
कैबिनेट द्वारा विद्युत एवं नवीकरणीय ऊर्जा उपकरणों के विनिर्माण को बढ़ावा देने के लिए औद्योगिक क्षेत्र मोहासा- बाबई जिला नर्मदापुरम के क्षेत्रफल विस्तार करने की स्वीकृति दी गयी। निर्णय अनुसार विद्युत एवं नवीकरणीय ऊर्जा उपकरणों के विनिर्माण क्षेत्र के लिए आरक्षित 441.96 एकड़ क्षेत्रफल में औद्योगिक क्षेत्र मोहासा बाबई की 442.04 एकड़ भूमि को शामिल किया गया है। अब औद्योगिक पार्क का क्षेत्रफल कुल 884 एकड़ हो गया है। इसी प्रकार औद्योगिक पार्क के लिए स्वीकृत सुविधाएं एवं आवंटन प्रक्रिया को संशोधित क्षेत्रांतर्गत स्थापित होने वाली इकाइयों को भी उपलब्ध कराने का अनुमोदन किया गया।
आबकारी नीति के निर्धारण के लिए मंत्रि-परिषद् समिति का गठन
मंत्रि-परिषद ने वर्ष 2025-26 के लिए आबकारी नीति के निर्धारण, समय-समय पर आनुषांगिक निर्णय लेने और राजस्व हित मे आवश्यक नीतिगत निर्णय लेने के लिए मंत्रि-परिषद् समिति का गठन किये जाने का अनुमोदन दिया। मंत्रि-परिषद् समिति में उप मुख्यमंत्री जगदीश देवड़ा, मंत्री उदय प्रताप सिंह, गोविंद सिंह राजपूत और निर्मला भूरिया शामिल हैं।
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MP News: कूनो में बाड़े से आजाद हुए ‘अग्नि’ और ‘वायु’, खुले जंगल में शुरू करेंगे नई जिंदगी
Kuno National Park: मध्य प्रदेश के कूनो नेशनल पार्क में बुधवार को अंतरराष्ट्रीय चीता दिवस के मौके पर ‘अग्नि’ और ‘वायु’ नाम के दो चीतों को बड़े बाड़े से निकालकर पारोंड वन क्षेत्र में में छोड़ा गया। बताया जा रहा है कि वातावरण में यदि सब ठीक रहा तो बाकी चीतों को भी चरणबद्ध तरीके से उनके बाड़ों से आजाद किया जाएगा। कूनो के बाड़े में अभी 12 शावक सहित 24 चीते हैं। इन चीतों को नामीबिया और दक्षिण अफ्रीका से लाने के बाद पहले बाड़े में रखा गया। भारतीय वातावरण में अनुकूल होने के बाद इनमें से दो चीते को अब कूनो नेशनल पार्क के खुले वन क्षेत्र में लंबे इंतजार के बाद बुधवार को छोड़ा गया। चीतों को खुले वन क्षेत्र में छोड़ने से पहले तमाम वन विशेषज्ञों ने उनकी सुरक्षा, भोजन और विचरण को लेकर लंबी चर्चा की। माना जा रहा है कि कुछ दिनों में दो से तीन चीते और छोड़े जा सकते हैं।
मुख्यमंत्री डॉ मोहन यादव ने X पर लिखा, अंतरराष्ट्रीय चीता दिवस पर कूनो को मिली दो चीतों की सौगात… कूनो नेशनल पार्क में चीते ‘अग्नि’ और ‘वायु’ को स्वतंत्र वन क्षेत्र में छोड़ा गया। चीतों के साथ मध्यप्रदेश में पर्यटन भी भरेगा तेज रफ्तार…
70 साल बाद बसाए जा रहे चीते
कूनों के खुले जंगलों में अफ्रीका से लाए चीतों को छोड़ने का यह चीता रीइंट्रोडक्शन प्रोजेक्ट का एक महत्वपूर्ण कदम है। लगभग 70 वर्षों के बाद भारत में चीतों की आबादी को पुनर्जीवित करने के लिए प्रयास किए जा रहे हैं। अब पर्यटकों को इन राजसी जानवरों को उनके प्राकृतिक आवास में देखने का अनोखा अवसर मिलेगा।
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MP News: प्रदेश का 9वां टाइगर रिजर्व बना रातापानी, दो दिन में एमपी को मिले दो टाइगर रिजर्व
Bhopal: मध्यप्रदेश के रातापानी अभ्यारण्य को प्रदेश का 9वां टाइगर रिजर्व घोषित कर दिया गया। आज 2 दिसंबर 2024 को रातापानी को प्रदेश का 9वां टाइगर रिजर्व घोषित कर दिया गया। राज्य शासन द्वारा इसकी अधिसूचना जारी कर दी गयी है। प्रस्तावित रातापानी टाइगर रिजर्व के कोर एरिया का रकबा 763.812 वर्ग किलोमीटर तथा बफर एरिया का रकबा 507.653 वर्ग किलोमीटर है। इस प्रकार टाइगर रिजर्व का कुल रकबा 1271.465 वर्ग किलोमीटर होगा। इससे पहले रविवार को केंद्र सरकार ने शिवपुरी के माधव नेशनल पार्क को प्रदेश का 8वां टाइगर रिजर्व घोषित किया था।
रातापानी टाइगर रिजर्व के कोर क्षेत्र की सीमा के अंदर स्थित राजस्व ग्राम झिरी बहेड़ा, जावरा मलखार, देलावाड़ी, सुरई ढाबा, पांझिर, कैरी चौका, दांतखो, साजौली एवं जैतपुर का रकबा 26.947 वर्ग किलोमीटर राजस्व भूमि इन्क्लेव के रूप में बफर क्षेत्र में शामिल है। टाइगर रिजर्व में भौगोलिक रूप से स्थित, उक्त 9 ग्राम अभयारण्य की अधिसूचना में कोर क्षेत्र में शामिल नहीं हैं।
रातापानी टाइगर रिजर्व बनने से टाइगर रिजर्व का सम्पूर्ण कोर क्षेत्र रातापानी टाइगर अभयारण्य की सीमा के भीतर है। इससे ग्रामीणों के वर्तमान अधिकार में कोई परिवर्तन नहीं होगा। इससे स्थानीय ग्रामीणों को पर्यटन से नये रोजगार सृजित होंगे, जिससे आर्थिक लाभ होगा। टाइगर रिजर्व गठित होने से भारत सरकार के राष्ट्रीय बाघ संरक्षण प्राधिकरण से बजट प्राप्त होने से वन्य-प्राणियों का और बेहतर ढंग से प्रबंधन किया जा सकेगा। इसके साथ ही स्थानीय ग्रामीणों को ईको टूरिज्म के माध्यम से लाभ प्राप्त होगा। टाइगर रिजर्व बनने से रातापानी को अंतर्राष्ट्रीय पहचान मिलेगी तथा भोपाल की पहचान “टाइगर राजधानी’’ के रूप में होगी।
एमपी के 9 टाइगर रिजर्व
1.बांधवगढ़ टाइगर रिजर्व
2.कान्हा टाइगर रिजर्व
3.सतपुड़ा टाइगर रिजर्व
4.पेंच टाइगर रिजर्व
5.पन्ना टाइगर रिजर्व
6.संजय दुबरी टाइगर रिजर्व
7.नौरादेही टाइगर रिजर्व
8.माधव टाइगर रिजर्व
9.रातापानी टाइगर रिजर्व